नागौर का यह गांव बना पर्यावरण का केंद्र, ग्रामीणों ने लगाए हजारों पौधे, जानें उद्देश्य
कृष्ण कुमार/नागौर. नागौर में एक ऐसा गांव है, जो पर्यावरण प्रेमी के रुप में उभरने लगा है, क्योंकि यहां के रहने वाले निवासियों को कोरोनाकाल के बाद प्रकृति से काफी लगाव हो गया है. इसलिए वे समय-समय पर चंदा इकठ्ठा करके गांव में जगह-जगह पर पौधे लगाते हैं और इन्हें समय-समय पर पानी भी देते हैं. जी हां हम बात कर रहे हैं नागौर के छोटे गांव गुड़ा भगवानदास की, जहां ग्रामीणों ने मिलकर 2000 से अधिक पेड़ पौधे लगा दिए हैं.
गांव के सरपंच देयाराम बताते हैं कि कोरोना की पहली लहर, दूसरी लहर और तीसरी लहर आई तो ग्रामीणों ने मिलकर पेड़ पौधे लगाने का निर्णय लिया. ग्रामीणों ने कुल 10 लाख रुपये की मदद से 2000 से अधिक पेड़ पौधे लगाए. यह सभी पेड़ पौधे अलग-अलग किस्म के हैं, कोई फलदार तो कोई छायादार है. पेड़ पौधे लगाने का उद्देश्य केवल प्रकृति की रक्षा तथा सुंदरता बढ़ाना है.
फलदार और छायादार दोनों पौधे लगाए
गांव के सरपंच बताते हैं कि ग्रामीणों के सहयोग से हॉस्पीटल, पंचायत भवन, मंदिर और सड़क की दोनों तरफ पेड़ पौधे लगाए हैं. जिसमें फलदार और छायादार दोनों पौधे लगाए हैं. नीम, अनार, अशोक तथा कानोकार्पस कई प्रजाति के पेड़ पौधे लगाए हैं. इन पौधों में पानी के लिए बूंद-बूंद सिंचाई और टेंकर की मदद से पानी डालते हैं और समय-समय पर ग्रामीणों द्वारा मिलकर खाद भी डाली जाती है.
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FIRST PUBLISHED : August 15, 2023, 16:26 IST