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प्रदूषण के घातक असर से जब अस्थमा की परेशानी बढ़ जाए तो क्या करें, यहां जानिए तत्काल उपाय के ये सूत्र

Asthma Symptoms when Worse: दिवाली के बाद पॉल्यूशन का बुरा हाल हो जाता है. बेशक एनसीआर में पटाखे पर बैन है लेकिन दिवाली के दिन पटाखे को छोड़ने से रोकना बेहद मुश्किल काम है. इसलिए प्रदूषण बढ़ जाता है और इसमें सांस से संबंधित बीमारियों के मरीजों को भारी परेशानी हो जाती है. जिन लोगों को अस्थमा की बीमारी है, उन्हें बहुत मुश्किलों का सामना करना पड़ता है. अस्थमा के मरीज हमेशा अपने साथ इनहेलर रखते हैं लेकिन लेकिन इन गंभीर स्थिति में इस बात की आशंका ज्यादा रहती है कि इनकी स्थिति भी गंभीर हो जाए. इसलिए पहले से अस्थमा के मरीजों को प्रदूशन में सतर्क रहने की जरूरत है. अगर कुछ गंभीर लक्षण दिखें तो तुरंत डॉक्टरों के पास जाना जरूरी हो जाता है. क्योंकि गंभीर अस्थमा के लक्षणों को ठीक करना चुनौती बन जाता है. इसलिए जैसे ये लक्षण दिखें तो तुरंत डॉक्टर के पास जाएं.

ये लक्षण दिखें तो तुरंत भागें डॉक्टर के पास

1. इनहेलर की ज्यादा आवश्यकता-हेल्थलाइन की खबर के मुताबिक यदि पॉल्यूशन के दिनों में आपको इनहेलर की बहुत ज्यादा आवश्यकता पड़ती है तो इसका मतलब है कि पॉल्यूशन आपके फेफड़े में घुस गया है. ऐसी स्थिति में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें.

2. बहुत ज्यादा खांसी-सर्दी-अगर पॉल्यूशन के दिनों में गले में ज्यादा कफ जमा हो गया हो और बहुत अधिक खांसी हो रही हो तो इसे भी गंभीरता से लें. अपने डॉक्टर से बात करें ताकि सर्दी-खांसी को तुरंत ठीक किया जा सके क्योंकि अस्थमा के मरीजों में सर्दी-खांसी होने पर बहुत अधिक परेशानी होती है.

3. रात में ज्यादा खांसी-यदि रात में ज्यादा खांसी या जुकाम है और रात में खांसी के कारण नींद नहीं आ रही है तो यह भी खराब संकेत हैं. तुरंत जाकर डॉक्टर से परामर्श करें.

4. सांस की क्षमता में कमी-यदि आपको एक सांस में कोई चीज पढ़ने में दिक्कत हो या जितना पहले आप एक सांस में पढ़ लेते थे, उतना अब नहीं पढ़ा जाता है तो लंग्स पर आफत के संकेत हैं. इसे पीक फ्लो मीटर से भी चेक किया जा सकता है.

5. छाती में जकड़न-अगर पॉल्यूशन के दिनों में छाती में जकड़न महसूस हो या छाती में भारीपन हो या छाती में हल्का-हल्का दर्द करें तो यह भी गंभीर संकेत हैं. इन स्थितियों में डॉक्टर से संपर्क करें.

इन स्थितियों से बचने के घरेलू इलाज

इन स्थितियों से बचने के लिए रोजाना कुछ दिनों तक अडूसा के पत्ते का काढ़ा पीएं. इससे लंग्स में इंफ्लामेशन की समस्या दूर होगी. इसके साथ ही अडूसा के पत्ते सर्दी-जुकाम-खांसी को भी दूर करता है. इसके साथ ही अदरक, लहसुन, शहद, कैफीन आदि अस्थमा मरीजों के लिए फायदेमंद है. इसके अलावा गहरी सांस लेने और छोड़ने वाली एक्सरसाइज करें.

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