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100 साल पुराने रहस्यमयी ताले, तकनीक देखकर रहे जाएंगे हैरान,राजस्थान की शाही विरासत की अनसुनी कहानी

Last Updated:May 04, 2025, 13:26 IST

धरोहर: जोधपुर के भीतर क्षेत्र में आज भी ऐसे 100 साल पुराने ताले आज भी मिलते हैं जो अपनी अनोखी तकनीक और जटिल डिजाइन के कारण लोगों को हैरान कर देते हैं .इन तालों की सबसे खास बात यह है कि इनमें एक नहीं, बल्कि 8 से…और पढ़ेंX
राजा-महाराजाओं
राजा-महाराजाओं के दौर की तालों की तकनीक देखकर आप भी रहे जाओगे हैरान

राजस्थान की शाही विरासत अपने किलों, महलों और हवेलियों के लिए दुनिया भर में प्रसिद्ध है, लेकिन इन इमारतों की सुरक्षा में इस्तेमाल होने वाले प्राचीन ताले भी कम दिलचस्प नहीं हैं. जोधपुर के भीतर क्षेत्र में आज भी ऐसे 100 साल पुराने ताले आज भी मिलते हैं जो अपनी अनोखी तकनीक और जटिल डिजाइन के कारण लोगों को हैरान कर देते हैं .इन तालों की सबसे खास बात यह है कि इनमें एक नहीं, बल्कि 8 से भी ज्यादा चाबियों का इस्तेमाल होता था.

चाबी लगाने की जगह इतनी खुफिया ढंग से बनाई जाती थी कि कोई आम आदमी तो क्या, जानकार भी अक्सर धोखा खा जाते थे. आज हम आपको उन्हीं राजा महाराजाओं के समय यानी आज से 100 साल पुराने उन तालों को न केवल दिखाएंगे बल्कि यह कैसे काम करते थे. उनकी जानकारी भी देंगे जो आपको हैरान करने वाली है.

इतनी खुफिया से होता तैयार हर कोई खा जाता धोखागिरीश जैन ने लोकल 18 से खास बातचीत करते बताया कि ताले और चाबियां का अपना अलग ही महत्व चाहे आधुनिक युग की बात हो या फिर राजा महाराजाओं के समय की बात हो,मगर राजा महाराजाओं के समय के ताले इसलिए भी खास हुआ करते थे.  उसमें 8 तरह की चाबियों का इस्तेमाल किया जाता था.चाबी लगाने की जगह इतनी खुफिया ढंग से बनाई जाती थी कि कोई आम आदमी तो क्या, जानकार भी अक्सर धोखा खा जाते थे.

हर ताला पर अनूठा डिजाइनइन तालों का इस्तेमाल केवल सुरक्षा के लिए ही नहीं, बल्कि शाही रुतबे और तकनीकी को दर्शाने के लिए भी किया जाता था। हर ताला एक अनूठा डिजाइन लिए होता था और इनकी बनावट में बारीक धातु-कला के आधार पर आपको देखने को मिलता था। ताले को खोलने के लिए सही क्रम में और सही दिशा में अलग-अलग चाबियों का उपयोग करना पड़ता था/ जो इसे और भी रहस्यमय बनाता था.

ऐतिहासिक 100 साल पुराने तालेआज जब आधुनिक युग में डिजिटल लॉक और बायोमेट्रिक सुरक्षा प्रणाली का उपयोग होने लगा है, तब भी राजस्थान के इन 100 साल पुराने तालों की तकनीकी जटिलता और कलात्मकता लोगों को आकर्षित करती है. ये ताले न सिर्फ हमारी ऐतिहासिक विरासत का हिस्सा हैं, बल्कि यह दिखाते हैं कि भारत में सदियों पहले भी सुरक्षा और डिजाइन को लेकर कितनी उन्नत सोच हुआ करती थी.

Location :

Jodhpur,Rajasthan

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100 साल पुराने रहस्यमयी ताले, तकनीक देखकर रहे जाएंगे हैरान, जानें इतिहास

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