Mahashivratri 2024: विशेष लाभ के लिए राशि अनुसार पहनें रुद्राक्ष पर इन गलतियों से बचें | Mahashivratri 2024 Wearing Rudraksha Rashi Anusar for special benefits rudraksh pahanane ke niyam avoid these mistakes

मिथुन राशि
मिथुन राशि के लोगों को चार मुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए। ऐसा करने से मिथुन राशि वालों को मनचाहा फल मिलता है।
कर्क राशि
कर्क राशि वालों के लिए दो मुखी रुद्राक्ष पहनना शुभ माना जाता है। यह कर्क राशि वालों को सौभाग्यशाली बनाता है।
सिंह राशि
सिंह राशि के लोगों को सबसे अनमोल बारह मुखी रुद्राक्ष पहनना चाहिए। इसके परिणामस्वरूप सिंह राशि वाले हर चुनौती से लड़ने में सक्षम बन जाते हैं।
कन्या राशि
कन्या राशि के लोगों को चार मुखी रुद्राक्ष पहनना चाहिए। यह कन्या राशि वालों के लिए शुभ साबित होता है।
तुला राशि
तुला राशि के लोगों को छह मुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए। इससे तुला राशि वालों के हर बिगड़े काम बनने लगते हैं।
वृश्चिक राशि
वृश्चिक राशि के स्वामी मंगल ग्रह हैं, इसलिए इस राशि के लोगों को तीन मुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए। ऐसा करने से वृश्चिक राशि वालों को कभी भी धन की कमी नहीं होती।
धनु राशि
धनु राशि के लोगों को पंचमुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए। इसके चलते धनु राशि वालों पर सदैव भगवान शिव की कृपा बनी रहती है।
मकर राशि
मकर राशि के लोगों को सात मुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए। इससे मकर राशि वाले हर क्षेत्र में सफलता प्राप्त करते हैं।
कुंभ राशि
कुंभ राशि के स्वामी शनि हैं, इस ग्रह की राशि कुंभ के लोगों को भी सात मुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए। इसके फलस्वरूप कुंभ राशि वालों पर हमेशा माता लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है।
मीन राशि
मीन राशि के लोगों के लिए पंचमुखी रुद्राक्ष धारण करना अति शुभ माना गया है। इससे मीन राशि वालों का स्वास्थ्य अच्छा होगा।
रुद्राक्ष धारण करने के बाद न करें ये काम
धार्मिक ग्रंथों के अनुसार जो व्यक्ति रुद्राक्ष धारण करता है उसे कभी भी मांस, मदिरा जैसे तामसिक भोजन का सेवन नहीं करना चाहिए। वहीं गलती से भी किसी का पहना हुआ रुद्राक्ष धारण न करें और न ही उसे छुएं। जब भी आप सोने जाएं तो इस बात का विशेष ध्यान रखें कि सोते समय रुद्राक्ष आपके हाथ में या गले में नहीं होना चाहिए। उसे उतार कर अलग रख दें।
जानें रुद्राक्ष पहनने का नियम
रुद्राक्ष पहनने का नियम भी जानना जरूरी है। रुद्राक्ष की माला धारण करने से पहले इसे 24 घंटे के लिए गंगाजल में डालकर रख दें। इसके बाद इसे निकालें और रुद्राक्ष पर अच्छे से बादाम का तेल लगाएं और फिर विधि-विधान से पूजन करें। इसके बाद शिव के मंत्र ऊँ नमः शिवाय’ का 108 बार जाप करें। फिर लाल रेशमी धागे में पिरोकर गले में पहनें या दाहिनी बाजू पर बांधें।