क्या आपको भी खाते ही भागना पड़ता है टॉयलेट? ये बीमारियां हो सकती हैं जिम्मेदार | Going potty after eating food Causes Postprandial Pooping
बार बार पॉटी जाना सेहत के लिए हानिकारक Going potty again and again is harmful for health
यद्यपि यह हो सकता है कि आपका खाया हुआ भोजन तुरंत पेट से बाहर आ जाए, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि आपका पाचन संबंधित प्रक्रिया सही तरीके से हो रही है। वास्तव में, अगर आपकी आंत में मल फंसा रहता है और खाने के दबाव के बाद उसका निकास नहीं होता, तो यह समस्या है। हालांकि आप प्रत्येक बार पॉटी जाने के बाद हल्का महसूस करें, लेकिन यह न केवल आपकी सेहत के लिए हानिकारक होता है, बल्कि इससे आपके पाचन को भी प्रभावित कर सकता है।
गैस्ट्रो कॉलिक रिफ्लेक्स Gastrocolic reflex
गैस्ट्रो कॉलिक रिफ्लेक्स (Gastrocolic reflex) एक सामान्य समस्या हो सकती है जो खाने के बाद लोअर गैस्ट्रोइंटेस्टनाइल ट्रेक्ट (Gastrointestinal tract) को नियंत्रित करती है। यह एक फिजियोलॉजिकल रिफ्लेक्स (Physiological reflex) है जो कई लोगों को प्रभावित कर सकता है। इस प्रक्रिया में, खाने के बाद कोलन में एक प्रतिक्रिया शुरू होती है जिससे कोलोनिक संकुचन होता है। इससे खाना पाचे हुए भोजन को मलाशय की ओर धकेलता है। इस समस्या का समाधान करने के लिए हम जानेंगे कि इसके कारण क्या हो सकते हैं और इसका समाधान क्या हो सकता है।
गैस्ट्रो कॉलिक रिफ्लेक्स से जुड़ी समस्याएं Problems related to gastro colic reflex
गैस्ट्रो कॉलिक रिफ्लेक्स के कारण विभिन्न पेट से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं जैसे फूड एलर्जी, एन्जाइटी, गैस्ट्राइटिस, क्रोनिक इन्फ्लेमेटरी बोवेल डिजीज (Chronic Inflammatory Bowel Disease) और अन्य। इसके अलावा, आंत में गुड़ बैक्टीरिया की कमी या इंफेक्शन भी इसे प्रेरित कर सकते हैं। ऐसा हो सकता है कि मसालेदार खाना, कार्बोनेटेड ड्रिंक्स, धूम्रपान, शराब, खराब आहार, कम शारीरिक गतिविधि, कुछ दवाएं और डेयरी प्रोडक्ट्स भी इसे बढ़ा सकते हैं। यहाँ हम इन सभी कारणों पर गहराई से जानकारी प्रदान करेंगे।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।