Business

Delhi Economic Survey: दिल्ली में प्रति व्यक्ति आय पर नहीं पड़ा कोरोना का असर, राष्ट्रीय औसत से 3 गुना ज्यादा की रिकॉर्ड, लेकिन GSDP को हुआ बड़ा नुकसान!‌

नई दिल्ली. दिल्ली विधानसभा (Delhi Assembly) के बजट सत्र की कार्यवाही आज उप-राज्यपाल (Lieutenant Government) के अभिभाषण के साथ शुरू हो गई. 8 मार्च से शुरू हुआ बजट सत्र 16 मार्च तक चलेगा. कल मंगलवार 9 मार्च को दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री बतौर वित्त मंत्री सदन में वर्ष 2021-22 का बजट पेश करेंगे. वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने बजट पेश करने से 1 दिन पहले दिल्ली के आर्थिक सर्वेक्षण (Economic Survey) और आउटकम बजट 2020-21 की रिपोर्ट में सदन पटल पर रखी.

सदन में आर्थिक सर्वेक्षण दिल्ली 2020-21 की रिपोर्ट पेश करते हुए उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने बताया कि 2020-21 में प्रचलित मूल्यों पर दिल्ली के सकल राज्य घरेलू उत्पाद (Gross State Domestic Product) का अग्रिम आकलन 7,98,310 करोड़ है. जिसमें पिछले वर्ष के मुकाबले 3.92% प्रतिशत का संकुचन (गिरावट) है.

इसका मतलब यह है कि दिल्ली के सकल राज्य घरेलू उत्पाद (SGDP) में कोरोना महामारी (Corona Pandemic) के चलते पिछले साल के मुकाबले इस बार सामान्य आर्थिक गतिविधि में कमी रिकॉर्ड की गई है जिसको अर्थशास्त्र के रूप में व्यापारिक मंदी (Contraction) कहा जा सकता है. जीएसडीपी में पिछले साल के मुकाबले 3.92 फ़ीसदी की गिरावट आई है.

इसके अलावा प्रचलित मूल्यों (Current Prices) पर जीएसडीपी में पिछले 6 वर्षों में करीब 45% की बढ़ोतरी हुई है. यह वर्ष 2015-16 के 5,50,804 करोड से बढ़कर वर्ष 2020-21 के दौरान 7,98,310 करोड रुपये हो गया है.

सिसोदिया ने बताया कि वास्तविक अर्थों में दिल्ली की जीएसडीपी में 2020-21 के दौरान 5.68 फ़ीसदी की संकुचन (Contraction) रिकॉर्ड की गई है जबकि इसी अवधि में राष्ट्रीय स्तर (National Level) पर 8.0 फीसदी की (संकुचन) गिरावट रही.

आर्थिक सर्वेक्षण की रिपोर्ट की मानें तो वर्ष 2020-21 के दौरान प्रचलित मूल्यों पर सकल राज्य मूल्य संवर्धित (GSVA) दर्शाता है कि इस में तृतीय क्षेत्र का योगदान 84.59%, द्वितीयक क्षेत्र का 13.56% और प्राथमिक क्षेत्र का 1.85% रहा है. रिपोर्ट की माने तो वर्ष 2020-21 के दौरान प्रचलित मूल्यों पर दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय (Per Capita Income) का आकलन 3,54,004 था जबकि राष्ट्रीय स्तर पर प्रति व्यक्ति आय 1,27,768 रही. इस प्रकार दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय राष्ट्रीय औसत से लगभग 3 गुना ज्यादा है.

सरकार का GSDP में 0.20 फ़ीसदी से बढ़कर 0.39 फ़ीसदी हुआ घाटा

दिल्ली ने अपना राजस्व अधिकार बनाए रखा है जो वर्ष 2019-20 के दौरान 7,499 करोड रुपए था जबकि 2018-19 के दौरान यह 6,261 करोड रुपए था. वहीं 2019-20 (अस्थाई) के दौरान वित्तीय घाटा 3227.79 करोड रुपए रहा जबकि 2018-19 में यह 1489.38 करोड का था. वित्तीय घाटा 2018-19 के दौरान जीएसडीपी के 0.20 फ़ीसदी की तुलना में 0.39 फ़ीसदी रहा यानी वर्ष 2019-20 के दौरान सरकार को बड़े स्तर पर वित्तीय घाटा वहन करना पड़ा है.

बकाया ऋण भी 8.61 फ़ीसदी से घटकर रह गया 4.15 फ़ीसदी

वर्ष 2019-20 में 31 मार्च तक बकाया ऋण 34,461.83 करोड रुपए था, जोकि वर्ष 2011-12 में और जीएसडीपी अनुपात 8.61% था, यह  2019-20 में घटकर 4.15% पर आ गया.

शिक्षा क्षेत्र बजट आवंटन का प्राथमिक क्षेत्र रहा

रिपोर्ट के मुताबिक वर्ष 2020-21 के बजट में समाज सेवा सेक्टरों में स्कीम परियोजनाओं के तहत कुल बजट का आवंटन 74.77 फ़ीसदी है. वहीं वर्ष 2020-21 के दौरान में शिक्षा क्षेत्र दिल्ली सरकार (Delhi Government) के लिए प्राथमिकता क्षेत्र रहा. बजट आवंटन का 23.83 फ़ीसदी शिक्षा क्षेत्र के लिए रखा गया. इसके बाद परिवहन क्षेत्र के लिए 14.67% चिकित्सा और जन स्वास्थ क्षेत्र के लिए 13.39%, सामाजिक सेवा और कल्याण क्षेत्र के लिए 13.11%, आवास और शहरी विकास के लिए 12.62% तथा जलापूर्ति और स्वच्छता के लिए 12.62% का आवंटन बजट में किया गया था.

Tags: Assembly Session, CM Arvind Kejriwal, Corona Virus, COVID 19, Delhi Government, Delhi Government Budget, Delhi news, GDP, Manish sisodia, Per capita GDP

FIRST PUBLISHED : March 8, 2021, 20:17 IST

Source link

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button

Uh oh. Looks like you're using an ad blocker.

We charge advertisers instead of our audience. Please whitelist our site to show your support for Nirala Samaj