इस बार आम के लिए तरसेंगे राजस्थानी, ना मिलेगा लंगड़ा, ना चख पाएंगे दशहरी, एक घंटे में फसल तबाह

Last Updated:May 08, 2025, 16:42 IST
सोमवार को बांसवाड़ा में आई आंधी का असर पूरे राज्य में आम की सप्लाई कर पड़ेगा. इस आंधी ने जिले के सत्तर प्रतिशत आम बर्बाद कर दिए.
आंधी ने तबाह किया सत्तर प्रतिशत आम (इमेज- फाइल फोटो)
राजस्थान वालों को इस साल आम के लिए तरसना पड़ेगा. इस साल प्रदेश में आम संकट देखने को मिल सकता है. ऐसा कहा जा रहा है कि मार्केट में ना तो लंगड़ा आम मिलेगा ना ही दशहरी. इसकी वजह है सोमवार को बांसवाड़ा में आया तूफ़ान. आंधी के कारण इलाके के सत्तर प्रतिशत आम बर्बाद हो गए हैं. ऐसे में मार्केट में अब पके आमों की किल्ल्त देखने को मिलेगी.
सोमवार को बांसवाड़ा में आई आंधी में कई आम के पेड़ उखड़ गए. आंधी इतनी तेज थी कि पेड़ों से ना सिर्फ कच्चे आम गिर कर बर्बाद हो गए बल्कि कई जगहों पर पेड़ भी गिर गए. राजस्थान में आम की पच्चीस से तीस प्रतिशत सप्लाई बांसवाड़ा से की जाती है. ऐसे में आंधी से हुई तबाही के कारण अब पके आम की किल्ल्त राज्य को झेलनी पड़ सकती है.
एक घंटे में हो गया सब बर्बादबांसवाड़ा में हर साल की तरह इस साल भी आम की अच्छी पैदावार हुई थी. किसानों में इसे लेकर उत्साह था. लेकिन सोमवार को एक घंटे के लिए आई आंधी ने सब बर्बाद कर दिया. सत्तर प्रतिशत आम खराब हो गए. इस आंधी ने उदयपुर, जोधपुर के साथ ही साथ बीकानेर, कोटा, जयपुर में भी आम की फसल बर्बाद कर दी. सबसे ज्यादा नुकसान बांसवाड़ा को झेलना पड़ा.
किसानो में छाई मायूसीकृषि अनुसंधान केंद्र के वैज्ञानिकों की मानें तो आंधी में 65 से 70 प्रतिशत नुकसान हुआ है. इस कारण दशहरी, लंगड़ा, मल्लिका, आम्रपाली जैसे आम खराब हो गए हैं. बांसवाड़ा में छह सौ से अधिक आम के पेड़ थे, जिसमें से नब्बे प्रतिशत आंधी में बर्बाद हो गए हैं. राजस्थान में आम की सबसे ज्यादा पैदावार डूंगरपुर में होती है. इसके बाद बांसवाड़ा का नंबर आता है. लेकिन आंधी के कारण लगता है इस साल राजस्थानियों को आम के लिए तरसना पड़ेगा.
Sandhya Kumari
न्यूज 18 में बतौर सीनियर सब एडिटर काम कर रही हूं. रीजनल सेक्शन के तहत राज्यों में हो रही उन घटनाओं से आपको रूबरू करवाना मकसद है, जिसे सोशल मीडिया पर पसंद किया जा रहा है. ताकि कोई वायरल कंटेंट आपसे छूट ना जाए.
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