PCC Chief Dotasara lying alone in Nathi Ka Bada controversy | ‘नाथी का बाड़ा’ विवाद में अकेले पड़े पीसीसी चीफ डोटासरा, सत्ता-संगठन भी नहीं उतरे समर्थन में

-पीसीसी चीफ डोटासरा के निजी और सरकारी आवास पर का भाजयुमो कार्यकर्ताओं ने पोती थी कालिख,कांग्रेस के मंत्री-विधायकों, पीसीसी पदाधिकारियों और अग्रिम संगठनों ने भी बनाई विवाद से दूरी
जयपुर
Updated: February 05, 2022 12:09:31 pm
जयपुर। प्रदेश कांग्रेस के सत्ता और संगठन में भले ही एकजुटता के दावे किए जाते हों लेकिन पार्टी में ही अंदरखाने गुटबाजी चरम पर है। इसका अंदाजा इसी बात से लगा सकता है कि प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के निजी और सरकारी आवास पर भाजयुमो कार्यकर्ताओं की ओर से कालिख पोते जाने के 3 दिन के बाद भी सत्ता और संगठन के किसी भी नेता की ओर से इस कृत्य की निंदा नहीं की गई है।

govind dotasara
साथ ही किसी ने भी प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के समर्थन में न तो कोई बयान दिया। न ही ट्वीट करके इस घटना की निंदा की है। इससे साफ है कि प्रदेश कांग्रेस में गुटबाजी हावी है। इस पूरे घटनाक्रम को लेकर भी इन दिनों कांग्रेस के सियासी गलियारों में चर्चाएं खूब हैं। चर्चा इस बात की भी है कि संभवत यह पहला मौका होगा जब सत्तारूढ़ पार्टी के अध्यक्ष के सरकारी और निजी आवास पर कालिख पोती गई हो।
मंत्री-विधायक भी नहीं उतरे समर्थन में
सबसे ज्यादा हैरानी तो पार्टी के उन मंत्री-विधायकों को लेकर भी है जो आए दिन अपनी बयानबाजी को लेकर सुर्खियों में रहते हैं लेकिन इन मंत्री-विधायकों ने भी इस पूरे घटनाक्रम से दूरी बना रखी है और किसी ने भी भाजयुमो कार्यकर्ताओं की ओर से किए गए इस कृत्य की निंदा तक नहीं की।
इसके अलावा खुद प्रदेश कांग्रेस कार्यकारिणी के पदाधिकारियों की ओर से भी न तो अपने अध्यक्ष के समर्थन में कोई ट्वीट किया गया और न ही इस घटना की निंदा की है। यही हाल पार्टी के हरावल बिग्रेड के रूप में मशहूर एनएसयूआई, युवा कांग्रेस, महिला कांग्रेस और सेवादल का है। जिन्होंने इस घटनाक्रम की न तो निंदा की और न ही विरोध स्वरूप कोई धरना प्रदर्शन किया।
2 दिन बाद खुद अध्यक्ष को देना बड़ा बयान
दिलचस्प बात तो यह है कि प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के सीकर स्थित निजी और जयपुर स्थित सरकारी आवास पर कालिख पोते जाने घटना के 2 दिन बाद खुद डोटासरा को सामने आकर बयान देना पड़ा। जबकि भाजयुमो कार्यकर्ताओं की ओर से कालिख पोते जाने के बाद भी राजेंद्र राठौड़ सहित कई वरिष्ठ भाजपा नेता उनके बचाव में उतर आए थे।
धड़ों में बंटी है प्रदेश कांग्रेस
प्रदेश कांग्रेस में एकजुटता के दावे किए जाते हों, लेकिन प्रदेश कांग्रेस अलग-अलग धड़ों में बंटी हुई है। पार्टी का एक धड़ा मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का है, तो दूसरा धड़ा पूर्व डिप्टी डिप्टी सीएम सचिन पायलट और तीसरा धड़ा विधानसभा स्पीकर सीपी जोशी का है । ऐसे में पार्टी में एकजुटता के दावे खोखले ही हैं।
गौरतलब है कि रीट पेपर लीक मामले को लेकर प्रदेश में चल रहे सियासी घमासान के बीच भाजयुमो कार्यकर्ताओं की ओर से सीकर में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के घर पर कालिख पोत दी गई थी और उसके एक दिन बाद ही जयपुर के सिविल लाइन स्थित सरकारी आवास पर भी कालिख पोत दी गई थी, जिससे प्रदेश में सियासी पारा चढ़ गया
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