मानसून की जल्दी विदाई नहीं, 7 से फिर झमाझम के दौर की संभावना
नई दिल्ली. दक्षिण-पश्चिम मानसून की सितंबर मध्य तक उत्तर-पश्चिम भारत से विदाई शुरू होने के आसार नहीं हैं। इस बारे में पिछले हफ्ते के पूर्वानुमान से हटते हुए मौसम विज्ञान विभाग (आइएमडी) ने गुरुवार को संभावना जताई कि बंगाल की खाड़ी में ताजा निम्न दबाव प्रणाली या चक्रवाती परिसंचरण विकसित होने से मानसून सात सितंबर के बाद नई ताकत से सक्रिय हो सकता है।
आइएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने बताया कि फिलहाल जो हालात हैं, उन्हें देखते हुए कहा जा सकता है कि मानसून की तय समय से पहले विदाई के आसार नहीं हैं। आइएमडी ने 24 अगस्त के पूर्वानुमान में कहा था कि मानसून विदाई की सामान्य तारीख 17 सितंबर से पहले विदा हो सकता है। देश में इस साल सामान्य से छह फीसदी ज्यादा बारिश हुई है, लेकिन उत्तर प्रदेश, बिहार, उत्तराखंड, मणिपुर, त्रिपुरा और पश्चिम बंगाल में कम बारिश होने से धान की फसल प्रभावित हुई है। महापात्र का कहना है कि आने वाले दिनों में मानसून की सक्रियता से उत्तर प्रदेश और बिहार में कम बारिश की भरपाई हो सकती है। आइएमडी के ताजा पूर्वानुमान के मुताबिक मानसून 5 सितंबर तक पूर्वोत्तर भारत और दक्षिणी राज्यों में सक्रिय रहेगा। दूसरे सप्ताह के दौरान यह मध्य और उत्तरी प्रायद्वीपीय राज्यों का रुख करेगा।
इस महीने सामान्य से ज्यादा बारिश
मौसम विभाग ने सितंबर में देश के अधिकांश हिस्सों में सामान्य से ज्यादा बारिश की भविष्यवाणी की है। मासिक बारिश 167.9 मिमी की लंबी अवधि के औसत (एलपीए) 109% से ज्यादा हो सकती है। जैसे-जैसे राज्यों में बारिश होती जाएगी, अधिकतम तापमान में गिरावट के आसार हैं। हालांकि उत्तर-पश्चिम और मध्य भारत के कुछ हिस्सों में तापमान सामान्य से ऊपर रह सकता है। अगस्त में बंगाल की खाड़ी में लगातार कम दबाव की प्रणालियों के कारण ओडिशा, छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश और राजस्थान में अच्छी बारिश हुई।