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Agriculture News: मेवाड़ में तोतों के कारण अफीम की खेती कर रहे किसान परेशान, कृषि विशेषज्ञों ने दी ये सलाह!

Last Updated:February 13, 2025, 10:26 IST

Agriculture News: मेवाड़ में किसान इस बार अच्छी अफीम की खेती की उम्मीद कर रहे हैं, लेकिन उन्हें तोतों के कारण काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. कृषि विशेषज्ञों के अनुसार, यदि फसल को पक्षियों से बचा लिया…और पढ़ेंX
अफीम
अफीम की खेती

हाइलाइट्स

तोतों से अफीम की फसल को नुकसान.किसान जालियां और शोर से तोतों को भगाने का प्रयास.फसल बची तो किसानों को बेहतर मुनाफे की उम्मीद.

मेवाड़:- क्षेत्र में अफीम की खेती सालों से किसानों की आजीविका का महत्वपूर्ण हिस्सा रही है. इस बार अनुकूल मौसम के चलते किसान अच्छी पैदावार की उम्मीद कर रहे हैं, लेकिन उनकी फसल के लिए एक खतरा भी मंडरा रहा है – अफीम के डोडे के आदी हो चुके तोतों से इसके बचाव के लिए किसान अलग-अलग तरीके के जुगाड़ कर रहे हैं. किसान इन तोतों से बचने के लिए कई उपाय अपना रहे हैं. कुछ किसान खेतों के ऊपर जालियां लगा रहे हैं ताकि तोते फसलों तक न पहुंच सकें. वहीं, कुछ किसान टीन के डिब्बे और लाउडस्पीकर का उपयोग कर शोर मचाकर इन्हें भगाने का प्रयास कर रहे हैं. बावजूद इसके, तोते बार-बार खेतों में लौट आते हैं. कृषि विशेषज्ञों के अनुसार, यदि फसल को पक्षियों से बचा लिया गया तो किसानों को इस साल बेहतर मुनाफा मिल सकता है.

तोते बने किसानों के लिए सिरदर्दकिसानों के अनुसार, ये तोते अफीम के नशे के आदी हो गए हैं और लगातार खेतों में पहुंचकर डोडों को नुकसान पहुंचा रहे हैं. निंबाड़ा क्षेत्र के किसान पुराण प्रजापत बताते हैं, “तोते इतनी तेजी से आते हैं कि पूरी टोली मिनटों में ही कई पौधों को नुकसान पहुंचा देती है. अफीम के डोडों को चोंच मारकर ये रस निकाल लेते हैं, जिससे फसल की गुणवत्ता पर असर पड़ता है.

फसल की सुरक्षा के लिए किसान उठा रहे ये कदमकिसान इन तोतों से बचने के लिए कई उपाय अपना रहे हैं. कुछ किसान खेतों के ऊपर जालियां लगा रहे हैं ताकि तोते फसलों तक न पहुंच सकें. वहीं, कुछ किसान टीन के डिब्बे और लाउडस्पीकर का उपयोग कर शोर मचाकर इन्हें भगाने का प्रयास कर रहे हैं. बावजूद इसके, तोते बार-बार खेतों में लौट आते हैं और फसल को नुकसान पहुंचा रहे हैं. किसान अर्जुन सिंह बताते हैं, “हर साल तोतों से कुछ न कुछ नुकसान होता ही है, लेकिन इस बार इनकी संख्या अधिक लग रही है. हमने खेतों के चारों ओर जालियां लगाई हैं और डराने के लिए कुछ लोग दिनभर खेतों में निगरानी कर रहे हैं.

अच्छे मुनाफे की उम्मीदइस बार मौसम अनुकूल रहने के कारण अफीम की पैदावार बेहतर होने की उम्मीद है. अफीम निकालने का काम भी शुरू हो गया है और किसान इसे लेकर आशान्वित हैं. कृषि विशेषज्ञों के अनुसार, यदि फसल को पक्षियों से बचा लिया गया तो किसानों को इस साल बेहतर मुनाफा मिल सकता है. मेवाड़ क्षेत्र में हजारों किसान अफीम की खेती से जुड़े हुए हैं, और यह उनकी प्रमुख फसल मानी जाती है. हालांकि, बढ़ते प्राकृतिक और जैविक खतरों से निपटने के लिए किसानों को नई तकनीकों को अपनाने की आवश्यकता है, ताकि उनकी मेहनत बेकार न जाए और फसल से अधिकतम लाभ प्राप्त हो सके.


Location :

Udaipur,Rajasthan

First Published :

February 13, 2025, 10:26 IST

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मेवाड़ में अफीम की फसल पर तोतों का हमला, एक्सपर्ट ने दी यह सलाह, जानें

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