Astro Vivah Muhurta- खरमास 16 दिसंबर से, फिर विवाह मुहूर्त पर एक माह का विराम

शादियों का नजारा इन दिनों जगह-जगह दिखाई दे रहा है। वहीं अंग्रेजी कैलेंडर 2021 का यह आखिरी महीना है, ऐसे में साल के आखिरी महीने में विवाह मुहूर्त चल रहे हैं, लेकिन अब इस माह विवाह के सिर्फ चार शुभ मुहूर्त विद्यमान है। इसके बाद एक माह के लिए खरमास के कारण मांगलिक कार्यों का सिलसिला थम जाएगा। इसके बाद अगले साल यानि जनवरी 2022 में मकर संक्रांति के बाद ही मांगलिक कार्यों की शुरुआत हो पाएगी।
पं. प्रहलाद पंड्या के अनुसार सूर्य का धनु राशि में प्रवेश 16 दिसम्बर होगा। धनु की संक्रांति होने के कारण विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन संस्कार सहित बड़े मांगलिक कार्य नहीं होते हैं। जब सूर्य धनु राशि और मीन राशि में रहता है, तो वह खरमास कहलाता है। खरमास में मांगलिक कार्य वर्जित रहते हैं। इसलिए 16 दिसम्बर से 15 जनवरी 2022 मकर संक्रांति तक मांगलिक कार्यों पर विराम लगा रहेगा।
अगले साल मार्च में नहीं होंगे विवाह
पं. विष्णु राजौरिया के अनुसार अगले साल 15 जनवरी से विवाह कार्यों की शुरुआत होगी। इसके बाद 23 फरवरी तक विवाह के योग रहेंगे, लेकिन 23 फरवरी के बाद गुरु अस्त होने के कारण विवाह कार्यों पर विराम लगेगा। इसी प्रकार मार्च में गुरु अस्त और 15 मार्च से 15 अप्रैल तक खरमास होने के कारण भी विवाह नहीं होंगे। 15 अप्रैल के बाद विवाह कार्यों की शुरुआत होगी। इसके बाद देवशयनी एकादशी तक हर माह विवाह के मुहूर्त रहेंगे।
Must Read – भगवान शिव-पार्वती के विवाह के दौरान फेरे वाले इस अग्निकुंड में आज भी जल रही है दिव्य लौ
अगले साल 2022 किस माह कितने मुहूर्त – |
जनवरी 2022 : | 4 मुहूर्त |
फरवरी 2022 : | 7 मुहूर्त |
मार्च 2022 : | मीन की संक्रांति और गुरु अस्त के कारण विवाह नहीं |
अप्रैल 2022 : | 8 मुहूर्त |
मई 2022 : | 12 मुहूर्त |
जून 2022 : | 9 मुहूर्त |
जुलाई 2022 : | 7 मुहूर्त |
10 जुलाई से 4 नवम्बर तक देवशयन के कारण | विवाह मुहूर्त नहीं |
नवम्बर 2022 : | 3 मुहूर्त |
दिसम्बर 2022 : | 6 मुहूर्त |
गुरु, शुक्र अस्त होने के कारण नहीं होते हैं विवाह
ज्योतिष मठ संस्थान के पं. विनोद गौतम ने बताया कि विवाह कार्यों के लिए गुरु और शुक्र का उदित होना जरूरी है। गुरु बल और शुक्र बल देखकर ही विवाह निकाला जाता है। मार्च में गुरु अस्त, खरमास के कारण विवाह नहीं होंगे, इसी प्रकार नवम्बर की शुरुआत में शुक्र अस्त होने के कारण विवाह नहीं होंगे। नवम्बर में देवउठनी एकादशी के बाद 20 नवम्बर को शुक्र का उदय होगा। इसलिए आखिरी सप्ताह में विवाह कार्यों की शुरुआत होगी।