Ragging Case: रैगिंग के मामलों पर काबू पाने के लिए सीसीटीवी कैमरा का इस्तेमाल, मेडिकल कॉलेजों और संस्थानों में रैगिंग की रोकथाम और निषेध विनियम

Last Updated:March 30, 2025, 18:20 IST
Ragging Case: आंकड़ों के मुताबिक राजस्थान में वर्ष-2024 में रैगिंग की 15 शिकायतें दर्ज हुई, जिसके साथ ही राजस्थान रैगिंग के मामलों में तीसरे नंबर पर है, जबकि यूपी पहले और बिहार दूसरे नंबर पर हैं, अलग-अलग कॉलेज …और पढ़ें
आंकड़ों के मुताबिक राजस्थान में वर्ष-2024 में रैगिंग की 15 शिकायतें दर्ज हुई.
हाइलाइट्स
राजस्थान में 2024 में रैगिंग की 15 शिकायतें दर्ज हुईंरैगिंग के मामलों में राजस्थान तीसरे नंबर पर हैरैगिंग रोकने के लिए कॉलेजों में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे
जयपुर. स्कूल और कॉलेजों में रैगिंग के बारे में आपने सुना होगा और बॉलीवुड की कई फिल्मों में भी देखा होगा. कभी यह मजाक के रूप में दिखाई जाती है तो कभी भयावह रूप में. लेकिन केंद्र सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़े चौंकाने वाले हैं. इन आंकड़ों से पता चलता है कि रैगिंग की असलियत कुछ और ही है.
2024 में रैगिंग की 15 शिकायतें दर्ज आंकड़ों के मुताबिक, राजस्थान में वर्ष 2024 में रैगिंग की 15 शिकायतें दर्ज हुईं. इसके साथ ही राजस्थान रैगिंग के मामलों में तीसरे नंबर पर है, जबकि यूपी पहले और बिहार दूसरे नंबर पर हैं. अलग-अलग कॉलेजों में छात्र-छात्राओं के साथ सीनियर्स द्वारा रैगिंग के मामले सामने आए हैं. सबसे ज्यादा मामले मेडिकल कॉलेजों में होते हैं, जहां स्टूडेंट्स डिप्रेशन का शिकार हो जाते हैं और कभी-कभी अपनी जान भी गंवा देते हैं. इसके बाद नेशनल मेडिकल कमीशन ने कॉलेजों में रैगिंग को रोकने के लिए गाइडलाइंस और निर्देश जारी किए हैं.
रैगिंग के मामलों पर काबू पाने के लिए सीसीटीवी कैमरा का यूजरैगिंग रोकने के नियम और गाइडलाइंस आंकड़ों के अनुसार, कॉलेज, छात्रावास और अस्पतालों में रैगिंग के मामले सबसे ज्यादा होते हैं. मेडिकल कॉलेजों और संस्थानों में रैगिंग की रोकथाम और निषेध विनियम, 2021 का पालन करना अनिवार्य है. इसमें संस्थानों की जिम्मेदारियों और रैगिंग रोकने के उपाय शामिल हैं. मेडिकल कॉलेज और जुड़े अस्पतालों में प्रमुख जगहों पर एंटी रैगिंग के पोस्टर, ब्रोशर और होर्डिंग लगाना अनिवार्य है. साथ ही कॉलेजों को रैगिंग रोकने के लिए कैंटीन, लाइब्रेरी और छात्रावासों में सीसीटीवी कैमरे लगाने के निर्देश दिए गए हैं. इसके अलावा सादा ड्रेस में मॉनिटरिंग करने के भी निर्देश हैं ताकि रैगिंग के मामलों पर काबू पाया जा सके.
रैगिंग की शिकायत कहां करें सत्र 2025-26 में नीट के जरिए एमबीबीएस प्रवेश प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. जयपुर के एसएमएस मेडिकल कॉलेज का हेल्पलाइन नंबर: टोल फ्री नंबर 18001806020 और यूजीसी नई दिल्ली का टोल फ्री नंबर 18001805522 है, जहां मेडिकल कॉलेज के स्टूडेंट्स शिकायत कर सकते हैं. इसके अलावा स्टूडेंट्स और उनके माता-पिता/अभिभावक विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से भी शिकायत दर्ज करा सकते हैं. पोर्टल के अलावा स्टूडेंट्स संबंधित मेडिकल कॉलेज के अधिकारी को भी शिकायत कर सकते हैं. ये शिकायत ई-मेल या व्हाट्सएप के जरिए भी की जा सकती है. किसी भी छात्र की रैगिंग होने पर संबंधित पुलिस थाने, कमेटी के सदस्यों और स्क्वाड को भी सूचना दी जा सकती है.
Location :
Jaipur,Jaipur,Rajasthan
First Published :
March 30, 2025, 18:20 IST
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रैंगिंग के मामलों में तीसरे नंबर पर राजस्थान, मेडिकल स्टूडेंट्स के साथ



