3 घंटे तक दशहत में रहा जयपुर का सिविल लाइंस, तेंदुए की मौजूदगी से मचा हड़कंप, वन विभाग ने ऐसे किया रेस्क्यू

Last Updated:November 20, 2025, 15:10 IST
जयपुर तेंदुआ रेस्क्यू ऑपरेशन: जयपुर के सिविल लाइन्स इलाके में तेंदुआ नजर आने से पूरे क्षेत्र में दहशत फैल गई. वन विभाग, पुलिस और रेस्क्यू टीम ने तुरंत सर्च ऑपरेशन शुरू किया. ट्रैंकुलाइजर गन, ड्रोन और थर्मल कैमरों की मदद से करीब तीन घंटे की मशक्कत के बाद तेंदुए को सुरक्षित पकड़ लिया गया. किसी के घायल होने की सूचना नहीं है, लेकिन घटना ने इलाके में तनाव पैदा कर दिया.
राजधानी जयपुर के हाई-प्रोफाइल सिविल लाइन्स इलाके में उस वक्त दहशत का माहौल उत्पन्न हो गया जब तेंदुआ नजर आया. इस इलाके में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा का आवास, जल संसाधन मंत्री सुरेश रावत का बंगला, कांग्रेस नेता सचिन पायलट का निवास और कई वरिष्ठ अधिकारियों के घर स्थित हैं. तेंदुआ पहले रेलवे क्रॉसिंग और फिर एक मकान की छत पर देखा गया. सूचना मिलते ही वन विभाग, पुलिस और रेस्क्यू टीमों ने पूरे इलाके को घेर लिया.

जयपुर के हाई-प्रोफाइल सिविल लाइन्स इलाके में मौजूदगी की सूचना मिलते ही जयपुर वन विभाग, पुलिस और रेस्क्यू टीम हरकत में आ गई और पूरे क्षेत्र को घेर लिया गया. वन विभाग की कई टीमें, ट्रैंकुलाइजर गन, कैमरा ट्रैप, ड्रोन और थर्मल इमेजिंग कैमरे लेकर मौके पर पहुंच गई. पुलिस ने सीएम हाउस से लेकर पूरे सिविल लाइन्स क्षेत्र की सुरक्षा बढ़ा दी है और आम लोगों की आवाजाही पर पूरी तरह रोक लगा दी गई है.

स्थानीय निवासियों ने दावा किया कि रात में उन्होंने तेंदुए की दहाड़ भी सुनी थी, जिसके बाद सुबह होते ही सर्च अभियान को तेज किया गया. वन विभाग को कई जगहों पर पगमार्क मिले, जिससे उसकी मूवमेंट का अंदाजा लगाया गया. कुछ स्थानों पर खून जैसे निशान मिलने से यह अनुमान लगाया गया कि तेंदुआ घायल भी हो सकता है. इस कारण टीम को और ज्यादा सतर्कता और रणनीति के साथ सर्च करना पड़ा.
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<br />तेंदुआ मंत्री सुरेश रावत के बंगले के भीतर तक चला गया था. इसके बाद सचिन पायलट के सरकारी आवास के पास भी लेपर्ड के दिखने से पूरे वीआईपी जोन में हड़कंप मच गया. पास ही मुख्यमंत्री आवास, राजभवन और अन्य मंत्रियों के बंगलों के होने से खतरा काफी बढ़ गया था. वन विभाग की टीम और पुलिस कर्मियों ने तुरंत इलाके की घेराबंदी कर सभी मार्गों को बंद कर दिया.

करीब तीन घंटे की कठिन मशक्कत के बाद रेस्क्यू टीम ने तेंदुए को ट्रैंकुलाइज कर सुरक्षित पकड़ लिया, जिसके बाद लोगों ने राहत की सांस ली. प्रशासन ने पहले ही अपील की थी कि जब तक तेंदुए को काबू में नहीं कर लिया जाता, कोई भी घर से बाहर न निकले और बच्चों को विशेष सावधानी बरतने की सलाह दी गई थी. हालांकि किसी के घायल होने की कोई सूचना नहीं मिली, लेकिन इस घटना से पूरे इलाके में कई घंटों तक भय और तनाव का माहौल बना रहा.

जयपुर के रिहायशी इलाकेमें तेंदुए को देखे जाने का यह कोई नया मामला नहीं है. इससे पहले भी इसी साल 21 अगस्त गोपालपुरा टर्न के पास एक तेंदुए की साइटिंग हुई, जो शहरी सीमा में भटकने की एक और घटना थी. वन विभाग ने तुरंत सर्च ऑपरेशन चलाया, लेकिन तेंदुआ भाग गया. इसके अलावा 7-8 दिसंबर 2024 को विद्याधर नगर के एक रिहायशी इलाके में तेंदुआ घुसा और दो लोगों पर हमला किया. नाहरगढ़ वन से भटका यह तेंदुआ चार घंटे बाद ट्रैंकुलाइज होकर पकड़ा गया. वहीं 14 नवंबर 2024 जगतपुरा के एक रिहायशी कॉम्प्लेक्स में तेंदुआ देखा गया, जो शूटिंग रेंज से आया था. इलाके में दहशत फैल गई, लेकिन वन विभाग ने सर्च के बाद तेंदुए को जंगल वापस भगाया.
First Published :
November 20, 2025, 15:10 IST
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जयपुर सिविल लाइंस में तेंदुए की मौजूदगी से हड़कंप, वन विभाग ने किया रेस्क्यू



