गेहूं में कब और कितनी बार करें सिंचाई? समय पर पानी देने से होगी अच्छी पैदावार, विशेषज्ञ से जानें

झुंझुनूं. अभी रबी की फसल की बुवाई व सिंचाई का समय चल रहा है इस समय शेखावाटी क्षेत्र में मुख्यतः गेहूं जो चना सरसों इत्यादि की फसल प्रमुखता से बोई जाती है किसानों को जानकारी के अभाव के चलते बहुत बार समय पर पानी नहीं देने से फसल खराब भी हो जाती है. इन सब से बचने के लिए लोकल 18 ने कृषि अधिकारियों से जाना कि गेहूं की सिंचाई के लिए कौन सा सही समय रहता है और क्या उसमें प्रमुख सावधानियां किसानों को वर्तनी चाहिए.
इसी के बारे में जानकारी देते हुए कृषि विज्ञान केंद्र आबूसर में कार्यरत कृषि वैज्ञानिक ने बताया कि बुवाई करने के बाद फसल में सिंचाई की जरूरत पड़ती है. क्योंकि अच्छी पैदावार के लिए सिंचाई बेहद जरूरी है. ऐसे में हर किसान भाई को यह मालूम होना चाहिए कि सिंचाई कब करें और कितनी बार करें? इस दौरान उन्होंने किसान भाई को कई महत्वपूर्ण सलाह दी.
कब कब करें गेहूं की सिंचाईडॉ. दयानंद ने बताया कि राज्य में गेहूं की खेती चार परिस्थितियों में की जाती है. बुवाई का समय आ चुका है इसके बाद सिंचाई भी की जाएगी. गेहूं में सिंचाई चार से पांच बार करनी चाहिए. पहली सिंचाई का सही समय गेहूं की बुवाई के 21 दिन बाद होता है. वहीं, दूसरी सिंचाई 45 से 50 दिनों बाद करनी चाहिए. गेहूं में तीसरी सिंचाई 55 से 60 दिनों के बाद करनी चाहिए. वहीं, चौथी सिंचाई 75 से 80 दिनों में करनी चाहिए. यदि जरूरत और पड़े तो एक और सिंचाई यानी अंतिम सिंचाई 110 दिनों के बाद कर देनी चाहिए.
कब पड़ती है अंतिम सिंचाई की जरूरतएक्सपर्ट के अनुसार इस तरीके से समय के अनुसार गेहूं की खेत में सिंचाई करने से फसल में अच्छी पैदावार होने की संभावनाएं बढ़ जाती है. अंतिम सिंचाई देना इसलिए जरूरी होता है क्योंकि कभी-कभी गर्मी अधिक पड़ती है जिसके वजह से गेहूं की फसल को टर्मिनल हिट होने की संभावनाएं अधिक रहती है. टर्मिनल हिट की वजह से गेहूं के दाने चटक जाते हैं, जिसके कारण किसानों को काफी नुकसान का सामना करना पड़ता है. ऐसे में इन बातों पर अमल करके फसल उपजाई जाए तो परिणाम बेहतर हो सकता है. गेहूं की खेत से अनवांटेड प्लांट को भी हटाना जरूरी होता है. ऐसा करने से आपकी खेत में फसल की पैदावार बढ़ जाने की संभावनाएं बनी रहती है. वहीं पिछले 60-70 साल से गेहूं की खेती कर रहे मालाराम ने जानकारी देते हुए बताया कि वह गेहूं की फसल में 15 से 20 दिन बाद में पानी देते हैं जब गेहूं में पहले कई बाहर निकलती है तब उसके बाद में उसमें पानी दिया जाता है फसल में अच्छी पैदावार के लिए उनके द्वारा उसमें खरपतवार भी हटाई जाती है. समय-समय पर पानी देने से उन्हें अच्छी पैदावार मिल जाती है. उन्होंने अभी चार बीघा में गेहूं लगा रखा है. वह कहते हैं औसत 15 क्विंटल पर बीघा के हिसाब से गेहूं की पैदावार हो जाती है.
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FIRST PUBLISHED : December 10, 2024, 18:05 IST