जर्मन सैलानियों को भाया राजस्थानी मेहमाननवाजी का अंदाज, पातलवास गांव में मिला आत्मीय स्वागत

Last Updated:April 19, 2025, 12:51 IST
मुंबई एक्सप्रेस-वे से गुजर रही जर्मन पर्यटकों की एक टूरिस्ट बस तकनीकी खराबी के चलते राजस्थान के दौसा जिले के पातलवास गांव के पास अचानक रुक गई. भीषण गर्मी और लू के कारण बस में सवार पर्यटक गर्मी और पसीने से बेह…और पढ़ेंX
विदेशी पर्यटक
मुंबई एक्सप्रेस-वे से गुजर रही जर्मन पर्यटकों की एक टूरिस्ट बस में तकनीकी खराबी के कारण दौसा जिले के पातलवास गांव के पास अचानक रुक गई. भीषण गर्मी और लू के कारण बस में सवार पर्यटक गर्मी और पसीने से बेहाल हो गए. इस मुश्किल घड़ी में गांव के निवासी रामस्वरूप मीणा और उनके पुत्र दिलराज मीणा ने मानवता की मिसाल पेश करते हुए विदेशी सैलानियों को अपने घर आमंत्रित किया.
पर्यटकों ने जब निमंत्रण स्वीकार किया तो रामस्वरूप मीणा अपने पूरे परिवार सहित उन्हें अपने घर ले गए. वहां सैलानियों ने करीब डेढ़ घंटे विश्राम किया. पहली बार इतनी निकटता से राजस्थानी संस्कृति, सादगी और परंपरागत मेहमाननवाजी का अनुभव किया.पर्यटकों ने परिवार के सदस्यों दिलराज, हरलाल, रामपाल और अन्य परिजनों की गर्मजोशी और सेवा-भावना की सराहना की. उन्होंने गांववासियों के आत्मीय व्यवहार को अविस्मरणीय बताया और कहा कि भारत की संस्कृति वाकई में दिल जीत लेने वाली है.
जर्मन सैलानियों को भाया राजस्थानीदिलराज मीणा ने जानकारी दी. पर्यटकों में एक बुजुर्ग महिला ऐसी भी थीं जिनकी मां मूल रूप से राजस्थान से थीं. शिक्षा के लिए जर्मनी जाकर बस गई थीं. यह मुलाकात उस महिला के लिए भावनात्मक रूप से भी बेहद खास रही. जिसने उन्हें अपनी जड़ों से फिर से जोड़ दिया. सैलानियों ने ग्रामीणों के साथ फोटो खिंचवाए, घर के भोजन का स्वाद लिया और मीणा समुदाय की संस्कृति को करीब से जाना. जाते समय उन्होंने बार-बार कहा कि यह अनुभव उनके पूरे भारत भ्रमण की सबसे खास और यादगार स्मृति बन गया है.
Location :
Dausa,Rajasthan
First Published :
April 19, 2025, 12:51 IST
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जर्मन सैलानियों को भाया राजस्थानी मेहमाननवाजी का अंदाज, मिला आत्मीय स्वागत