ग्राउंड रिपोर्ट: नारोली-ब्रह्मबाद मार्ग पर खतरनाक हालात, पुलिया धंसने से हो रहे हादसे; लोग बोले- प्रशासन ठोस कदम नहीं उठा रहा

Last Updated:November 20, 2025, 09:55 IST
भरतपुर ग्राउंड रिपोर्ट: भरतपुर के बंद बरेठा बांध से छोड़े गए पानी के चलते नारोली–ब्रह्मबाद मार्ग की मुख्य पुलिया गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त हो गई है. यह पुलिया लगभग 5,000 लोगों के दैनिक आवागमन का प्रमुख मार्ग है. ग्रामीणों का आरोप है कि वर्षों से केवल मिट्टी डालकर औपचारिक मरम्मत की जाती है, जो बारिश में तुरंत बह जाती है. गहरे गड्ढों, कटाव और संकीर्ण मार्ग के कारण हादसों का जोखिम लगातार बढ़ रहा है. कई बार दुर्घटनाएं भी हो चुकी हैं. ग्रामीण शिकायत कर चुके हैं, लेकिन अब तक प्रशासन ने कोई ठोस कदम नहीं उठाया है.
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भरतपुर. राजस्थान के भरतपुर जिला स्थित बंद बरेठा बांध से छोड़े गए पानी का असर अभी तक कम नहीं हुआ है. पानी का तेज बहाव कई छोटी-बड़ी पुलिया और मार्गों को नुकसान पहुंचा गया था, लेकिन इनमें सबसे गंभीर स्थिति नारोली ब्रह्मबाद मार्ग पर स्थित मुख्य पुलिया की है. यह पुलिया ग्रामीणों के लिए जीवनरेखा मानी जाती है, क्योंकि इसी रास्ते से रोजाना लगभग 5,000 लोग अपने कामकाज के लिए इस्मेताल में लाते हैं. इसके अलावा स्कूली बच्चे, कृषि कार्य और बाजार के लिए आवागमन का एक मात्र सहारा है. साथ ही यह दर्जनों गांवों को शहर से जोड़ने वाला सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण मार्ग है. जब लोकल 18 ने ग्राउंड जीरो जाकर मुआयना किया तो हालात काफी गंभीर थे. अगर जल्द से जल्द इस पुलिया को नहीं बनवाया गया तो यहां कभी भी बड़ी दुर्घटना घट सकती है.
ग्रामीणों के मुताबिक पुलिया की मरम्मत का काम पिछले कई वर्षों से सिर्फ औपचारिकता के रूप में किया जा रहा है. ठेकेदार द्वारा हर बार मिट्टी डालकर रास्ता समतल करने की कोशिश की जाती है, लेकिन बरसात आते ही पूरी मिट्टी पानी में बह जाती है और फिर वही खतरनाक हालात बन जाते हैं. ग्रामीण आरोप लगाते हैं कि निर्माण कार्य में लापरवाही और घटिया सामग्री का इस्तेमाल इस समस्या को और बढ़ा रहा है. पुलिया के किनारे गहरे गड्ढे बन गए हैं और मिट्टी के कटाव ने सड़क को बेहद संकीर्ण कर दिया है. जिससे हर समय हादसे का खतरा बना रहता है.
नारोली ब्रह्मबाद मार्ग पर लगातार हादसे होते आ रहे हैं
स्थानीय लोगों का कहना है कि इस मार्ग पर मोटरसाइकिल, टेंपो और ट्रैक्टर तक फिसलकर पानी में गिर चुके हैं. कई बार छोटे-बड़े हादसे हो चुके हैं. जिनमें लोगों को चोट भी लगी है. स्कूल जाने वाले बच्चों और रोजगार पर निकलने वाले युवाओं को रोजाना जोखिम उठाकर इस टूटी पुलिया को पार करना पड़ता है. महिलाएं और बुजुर्ग तो इस रास्ते से जाने में सबसे ज्यादा डर महसूस करते हैं. कई बार गांव वाले खुद लकड़ी और पत्थर डालकर अस्थायी रास्ता बनाने की कोशिश करते हैं, लेकिन यह प्रयास कुछ दिनों से ज्यादा टिक नहीं पाता.
प्रशासन ने अब तक नहीं उठाया है ठोस कदम
सबसे बड़ी समस्या यह है कि इस गंभीर मुद्दे पर अभी तक प्रशासन की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है. ग्रामीण कई बार शिकायत कर चुके हैं. यहां तक कि जनप्रतिनिधियों को भी स्थिति से अवगत कराया गया है, लेकिन मौके पर न तो किसी अधिकारी का दौरा हुआ और न ही मरम्मत शुरू हुई. नारोली ब्रह्मबाद मार्ग की यह पुलिया अब सिर्फ टूटे रास्ते की समस्या नहीं बल्कि हजारों लोगों की सुरक्षा और दैनिक जरूरतों से जुड़ा मुद्दा बन चुकी है. ग्रामीणों की मांग है कि प्रशासन त्वरित प्रभाव से मजबूत और स्थायी निर्माण कर इस मार्ग को फिर से सुरक्षित बनाए ताकि आमजन राहत की सांस ले सके.
दीप रंजन सिंह 2016 से मीडिया में जुड़े हुए हैं. हिंदुस्तान, दैनिक भास्कर, ईटीवी भारत और डेलीहंट में अपनी सेवाएं दे चुके हैं. 2022 से हिंदी में अपनी सेवाएं दे रहे हैं. एजुकेशन, कृषि, राजनीति, खेल, लाइफस्ट…और पढ़ें
दीप रंजन सिंह 2016 से मीडिया में जुड़े हुए हैं. हिंदुस्तान, दैनिक भास्कर, ईटीवी भारत और डेलीहंट में अपनी सेवाएं दे चुके हैं. 2022 से हिंदी में अपनी सेवाएं दे रहे हैं. एजुकेशन, कृषि, राजनीति, खेल, लाइफस्ट… और पढ़ें
Location :
Bharatpur,Rajasthan
First Published :
November 20, 2025, 09:55 IST
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नारोली-ब्रह्मबाद मार्ग पर खतरनाक हालात, लोग बोले- प्रशासन ठोस कदम नहीं उठा रहा



