National

हिमाचल प्रदेशः लद्दाख में शहीद हुए सरकाघाट के फौजी जवान सुखदेव सिंह, सैन्य सम्मान से हुआ अंतिम संस्कार, बेटे ने दी मुखाग्नि

मंडी. हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले के सरकाघाट के वीर सपूत हवलदार सुखदेव सिंह देश की सीमाओं की रक्षा करते हुए लद्दाख में शहीद हो गए. हालांकि शहादत किस तरह से हुई है इसकी स्पष्ट जानकारी नहीं मिल पाई है, लेकिन सरकाघाट उपमंडल प्रशासन को सेना की तरफ से शहादत का पत्र सौंपा गया है. बताया जा रहा है कि सुखदेव सिंह की हार्ट अटैक से मौत हो गई है.

जानकारी के अनुसार, सरकाघाट के जमसाई गांव के जांबाज सपूत आर्मी की आर्टिलरी रेजिमेंट में पिछले 24 वर्षों से सेवाएं दे रहे थे. उनकी शहादत से सरकाघाट क्षेत्र में शोक की लहर छा गई है. मंगलवार को शहीद हवलदार सुखदेव सिंह का पूरे सैनिक सम्मान के साथ गांव जमसाई में अंतिम संस्कार किया गया और इसमें स्थानीय प्रशासन की ओर से तहसीलदार सरकाघाट मुनीश कुमार मौजूद रहे.


सुखदेव सिंह 24 साल पहले सेना में भर्ती हुए थे.

शहीद की यूनिट की ओर से आए सैनिकों ने भी उन्हें अंतिम सलामी दी. इस अंतिम विदाई में भारी संख्या में लोगों ने एकत्रित होकर अपने इस वीर सपूत को श्रद्धांजलि अर्पित की और उनके परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त की. हवलदार सुखदेव सिंह अपने पीछे पत्नी अनिता देवी और एक बेटे को छोड़ गए हैं. सरकाघाट उपमंडल प्रशासन ने सेना की ओर से आए सुखदेव के शहीदी पत्र की पुष्टि की है.


सरकाघाट में बेटे ने अपने पिता को मुखाग्नि दी.

मुख्यमंत्री ने हवलदार सुखदेव सिंह की शहादत पर शोक जताया

उधर, मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने वीर जवान हवलदार सुखदेव सिंह की शहादत पर गहरा शोक व्यक्त किया है. मुख्यमंत्री ने कहा कि हवलदार सुखदेव सिंह के योगदान को देश कभी नहीं भुला पाएगा. उन्होंने शोक संतप्त परिवार के प्रति गहरी संवदेनाएं व्यक्त की हैं. उन्होंने ईश्वर से दिवंगत आत्मा को शांति और शोक संतप्त परिजनों को इस अपूरणीय क्षति को सहन करने की शक्ति प्रदान करने की प्रार्थना भी की है.

Tags: Indian army, Indian Army news, Indian Army Pride Stories, Leh News

FIRST PUBLISHED : November 6, 2024, 06:51 IST

Source link

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button

Uh oh. Looks like you're using an ad blocker.

We charge advertisers instead of our audience. Please whitelist our site to show your support for Nirala Samaj