Jaipur greater nagar nigam mayor somya bvg company supreme court news | सौम्या के मेयर बनते ही बीवीजी कंपनी पर बढ़ी मुसीबत, कंपनी का जाना लगभग तय

राजस्थान हाईकोर्ट ने बीवीजी कंपनी की याचिका को किया खारिज, नगर निगम ग्रेटर कंपनी का सफाई ठेका रद्द करने पर लगी रोक हटी
जयपुर
Updated: February 02, 2022 07:55:34 pm
कमलेश अग्रवाल / जयपुर। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद सौम्या गुर्जर ने बुधवार को नगर निगम ग्रेटर के महापौर का पद संभाल लिया है। इसी के साथ सफाई कंपनी की मुसीबत बढ़ गई है। राजस्थान हाईकोर्ट ने बीवीजी कंपनी की याचिका को खारिज कर दिया। इसी के साथ नगर निगम ग्रेटर कंपनी का सफाई ठेका रद्द करने पर लगी रोक भी हट गई है।

कंपनी ने पूरक संविदा नहीं करने पर ठेका निरस्त करने की कवायद पर हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। जिस पर कोर्ट ने कंपनी पर दंडात्मक कार्रवाई करने पर मई 2021 में रोक लगा दी थी। इसके साथ ही अदालत ने कंपनी को नियमित काम करते रहने को कहा था।
कंपनी ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर कहा था कि स्थानीय निकाय विभाग ने दोनों निगमों को पूरक संविदा करने को कहा है। इसकी पालना में हेरिटेज निगम ने संविदा कर ली लेकिन ग्रेटर नगर निगम की ओर से पूरक संविदा पत्र जारी नहीं किया गया है और ठेका निरस्त करने की कार्रवाई की जा रही है।
वहीं नगर निगम की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता अनिल मेहता ने कहा कि इस तरह का पूरक अनुबंध करने के लिए बाध्य नहीं है। कंपनी की ओर से लगातार शर्तों का उल्लंघन किया जा रहा है। जिसकी वजह से निगम अब ठेका निरस्त करना चाहता है। वहीं राजस्थान कर्मचारी फैडरेशन ने भी कहा कि सफाई कंपनी तय शर्त और मापदंड के अनुसार काम नहीं कर रही है। निगम के संसाधन काम में लिए जा रहे हैं और भ्रष्टाचार के मामले भी आ रहे हैं ऐसे में ठेका निरस्त किया जाना चाहिए। इसी के साथ कोर्ट में आया कि कंपनी की ओर से मध्यस्था के लिए कार्रवाई की जा रही है। जिसमें याचिका में उठाएं गए मुद्दे ही शामिल है।
वहीं कंपनी ने कहा कि उनकी कंपनी देश के कई जगहों पर कार्यरत है उनकी प्रतिष्ठा जुड़ी है। सभी पक्षों को सुनने के बाद न्यायाधीश इंद्रजीत सिंह ने कंपनी की याचिका को खारिज कर दिया। कंपनी की याचिका खारिज होने के साथ ही कंपनी के ठेका निरस्त करने की रोक भी समाप्त हो गई है। ऐसे में अब ग्रेटर निगम कंपनी के खिलाफ कार्रवाई करने की छूट मिल गई है। गौरतलब है कि हेरिटेज निगम पहले ही कंपनी का ठेका निरस्त कर चुका है।
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