Jodhpur Family Dies in Sleeper Bus Blaze

Last Updated:October 15, 2025, 08:15 IST
Jaisalmer Bus Fire: जैसलमेर बस हादसे में जोधपुर के बालेसर निवासी महेंद्र मेघवाल का पूरा परिवार (पत्नी, दो बेटियां, एक बेटा) खत्म हो गया. हादसे में कुल 20 लोगों की मौत हुई और 15 घायल हुए. आग का कारण बस में लगाए गए जुगाड़ एसी सिस्टम को माना जा रहा है. 5 दिन पहले खरीदी गई इस बस में लगी आग से झुलसे यात्रियों को 275 किमी लंबे ग्रीन कॉरिडोर के ज़रिए जोधपुर लाकर इलाज दिया जा रहा है.
जैसलमेर बस हादसा: जोधपुर के महेंद्र मेघवाल का परिवार खत्म
Jaisalmer Bus Fire: राजस्थान के जैसलमेर-जोधपुर हाईवे पर मंगलवार को हुए भीषण बस हादसे में जोधपुर जिले के बालेसर क्षेत्र का एक पूरा परिवार खत्म हो गया. इस हृदय विदारक घटना में महेंद्र मेघवाल, उनकी पत्नी, दो बेटियां और एक बेटा जिंदा जल गए. महेंद्र मूल रूप से बालेसर के लावारान शेतरावा के निवासी थे और सेना के गोला बारूद डिपो में पोस्टेड होने के कारण जैसलमेर की इंद्रा कॉलोनी में किराए पर रहते थे.
महेंद्र मेघवाल अपने परिवार के साथ जैसलमेर से जोधपुर आ रहे थे, तभी यह हादसा हुआ. हादसे की खबर जैसे ही जोधपुर और जैसलमेर में पहुंची, महेंद्र के परिजनों में कोहराम मच गया. कई परिवार रातभर अस्पतालों के चक्कर लगाते रहे और अपने लापता रिश्तेदारों की तलाश करते रहे. सीसीटीवी फुटेज से महेंद्र और उनके परिवार के इसी बस में सवार होने की पुष्टि हुई है. आर्मी के अधिकारी भी गोला बारूद डिपो में पोस्टेड महेंद्र के बारे में विस्तृत जानकारी जुटा रहे हैं.
एसी के जुगाड़ सिस्टम ने ली निर्दोषों की जानयह दर्दनाक हादसा तब हुआ जब के के ट्रेवल्स की एसी स्लीपर बस में शॉर्ट सर्किट से आग लग गई. शुरुआती जांच में पता चला है कि यह बस मूल रूप से नॉन-एसी थी, जिसे स्थानीय स्तर पर अवैध रूप से मॉडिफाई कर एसी स्लीपर में बदला गया था. बिना किसी तकनीकी स्वीकृति और सुरक्षा मानकों के लगाए गए जुगाड़ एसी सिस्टम की वायरिंग में हुई गड़बड़ी ही आग का मुख्य कारण बनी.
घटना के समय बस में 57 यात्री सवार थे. आग इतनी तेजी से फैली कि 20 यात्रियों की मौत हो गई, जबकि 15 यात्री गंभीर रूप से झुलसकर घायल हो गए.
275 किमी ग्रीन कॉरिडोर बनाकर लाए गए झुलसे यात्री
हादसे के बाद गंभीर रूप से झुलसे 15 यात्रियों का इलाज जोधपुर के महात्मा गांधी अस्पताल (MGH) और MDM अस्पताल में चल रहा है. इनमें से अधिकतर यात्री 70 प्रतिशत तक झुलस गए थे. इन घायलों को जैसलमेर से जोधपुर तक लगभग 275 किमी लंबे ग्रीन कॉरिडोर बनाकर लाया गया ताकि उन्हें बिना किसी ट्रैफिक बाधा के जल्द से जल्द विशेषज्ञ चिकित्सा सहायता मिल सके.
दुर्भाग्यवश, जैसलमेर से जोधपुर लाते समय एक बुजुर्ग यात्री ने रास्ते में ही दम तोड़ दिया, जिससे मृतकों की संख्या 20 हो गई. जोधपुर के अस्पताल में डॉक्टरों की कई टीमें घायलों के इलाज में जुटी हैं.
5 दिन पहले खरीदी गई बस बनी आग का गोलासूत्रों के अनुसार, हादसे वाली बस को जोधपुर के इक्कू नाम के व्यक्ति ने सिर्फ 5 दिन पहले ही खरीदा था और इसे रूट पर चलाया गया था. पांच दिन पहले खरीदी गई यह नई बस मंगलवार को जैसलमेर-जोधपुर हाईवे पर आग के गोले में तब्दील हो गई और 20 निर्दोषों की जान ले ली.
Location :
Jodhpur,Jodhpur,Rajasthan
First Published :
October 15, 2025, 08:15 IST
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जोधपुर के महेंद्र मेघवाल का परिवार जिंदा जला, जैसलमेर बस हादसे में 20 की मौत