Rajasthan

Kotputli Borewell Rescue Operation : 150 घंटे बाद भी अभी तक चेतना तक नहीं पहुंच पाई टीम, जानें चल क्या रहा है?

हीरालाल सैन.

जयपुर. कोटपुतली में 170 फीट गहरे बोरवेल में फंसी तीन साल की चेतना को छह दिन बाद भी अभी तक बाहर नहीं निकाला जा सका है. चेतना को बोरवेल से बाहर निकालने के लिए चल रहे रेस्क्यू ऑपरेशन को 150 घंटे पूरे हो चुके हैं. बावजूद इसके अभी तक रेस्क्यू टीम उस तक नहीं पहुंच पाई है. चेतना को बोरवेल से बाहर निकालने के तमाम प्रयास विफल हो चुके हैं. अब उसे बाहर निकालने के लिए सुरंग खोदी जा रही है. लेकिन उसमें भी हार्ड पत्थर की लेयर मुसीबत बनी हुई है. हादसे को आज सातवां दिन है.

जानकारी के अनुसार चेतना को बोरवेल से बाहर निकालने के लिए बनाई जा रही सुरंग में हार्ड पत्थर की परत बाधा बनी हुई है. इस सुरंग को बनाने में जुटी एनडीआरएफ की टीम रविवार को सुबह तक बीते 12 घंटों में महज चार फीट ही खोद पाई है. एनडीआरएफ की टीम लगातार पत्थर को काटने में लगी हुई है. बताया जा रहा है कि पत्थर की लेयर टूटने के बाद आज शाम तक रेस्क्यू ऑपरेशन पूरा होने की संभावना है.

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एनडीआरएफ की टीम के सदस्यों को उतार गड्डे मेंइससे पहले शनिवार को रेस्क्यू टीम ने अपने प्लान B के तहत बोरवेल के सामांतर खोदे गए 170 फी गहरे गड्ढे में एक्सपर्ट टीम के 2 सदस्यों महावीर प्रसाद और जयवीर को कैप्सूल के जरिए उतारा. वहां टीम के सदस्यों ने टनल की खुदाई की शुरू की. छोटी ड्रिल मशीन और हेमर से इस सुरंग को खोदा जा रहा है. इसकी जिला कलेक्टर समेत प्रशासनिक अधिकारी CCTV कैमरे के माध्यम से मॉनिटरिंग करते रहे. लेकिन बीच में पत्थर आ जाने के कारण 3 घंटे में महज 2 फीट की ही खुदाई हो पाई.

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जयपुर ग्रामीण सांसद और पूर्व मंत्री पहुंचे मौके परमौके पर रेस्क्यू टीम के साथ पुलिस और प्रशासन के आलाधिकारी तथा ग्रामीण डटे हुए हैं. चेतना के परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हो रखा है. शनिवार को जयपुर ग्रामीण सांसद राव राजेंद्र सिंह और पूर्व मंत्री राजेन्द्र गुढ़ा भी वहां पहुंचे. पूर्व मंत्री गुढ़ा ने हादसे को लेकर सिस्टम पर सवाल उठाए. उन्होंने जिला कलेक्टर को हटाने की मांग की. वहीं परिजनों ने भी प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए हैं. उन्होंने पुलिस अधिकारियों पर धमकाने का आरोप लगाया है. ग्रामीण इस बात से भी आक्रोशित हैं जिला कलेक्टर एक बार भी चेतना की मां से मिलने नहीं गई.

Tags: Big accident, Big news, Rescue operation

FIRST PUBLISHED : December 29, 2024, 07:58 IST

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