दक्षिण कोरिया में घटती फर्टिलिटी रेट से स्कूलों की कमी

Last Updated:March 02, 2025, 12:39 IST
दक्षिण कोरिया में फर्टिलिटी रेट दुनिया में सबसे कम है, 2024 में 0.75 फीसदी रही. कम फर्टिलिटी रेट के कारण स्कूलों में बच्चों की कमी हो रही है, जिससे कई स्कूल बंद हो रहे हैं.
दक्षिण कोरिया में घटती आबादी अब भयावह रूप ले रही है.
हाइलाइट्स
दक्षिण कोरिया में फर्टिलिटी रेट 0.75% हैकम फर्टिलिटी रेट से स्कूलों में बच्चों की कमी2024 में 49 स्कूल बंद करने पड़े
दुनिया बहुत तेजी से बदल रही है. हर तरफ अनिश्चितता है. कोई भी दावे के साथ नहीं कह सकता कि अगले दो-चार साल में क्या होने वाला है. कुछ ऐसी ही समस्या आबादी की है. चंद वर्ष पहले तक हम मानते थे कि पूरी दुनिया के लिए बढ़ती आबादी सबसे बड़ी चुनौती बनने वाली है. लेकिन बीते दशक में पूरा परिदृश्य बदल गया. दो साल पहले तक दुनिया में सबसे अधिक आबादी वाला मुल्क रहे चीन में भी आबादी घटने लगी है. लेकिन, दक्षिण कोरिया, जापान, सिंगापुर और यूरोप के कुछ देशों में आबादी इस तेजी से घट रही है कि आने वाले समय में वहां का समाज किलकारी सुनने को तरसने वाला है.
आज हम दक्षिण कोरिया की बात करते हैं. यह एक शानदार डेवलप देश है. लेकिन, मौजूदा वक्त में इस देश में फर्टिलिटी रेट दुनिया में सबसे कम है. 2024 में यह फर्टिलिटी रेट 0.75 फीसदी रही. इससे पहले 2023 में यह 0.73 फीसदी थी. बीते नौ वर्ष में यह पहली बार है जब इस देश में फर्टिलिटी रेट में मामूली सुधार हुआ है. फर्टिलिटी रेट का मतलब एक महिला की पूरी उम्र में उसके शरीर से पैदा होने वाले बच्चे हैं. दक्षिण कोरिया में एक महिला एक से भी कम 0.75 फीसदी बच्चे को जन्म देती है. यानी यहां करीब-करीब हर तीन में से एक महिला मां नहीं बनती. जबकि एक समाज या देश को अपनी मौजूदा आबादी की दर को बनाए रखने के लिए एक महिला को कम से कम 2.1 बच्चे को जन्म देना चाहिए.
एक दशक पहले शुरू हुआ संकटदक्षिण कोरिया में कम फर्टिलिटी रेट की समस्या बीते करीब एक दशक से है. इस कारण यहां आबादी पर कम होने लगी है. इस कारण यहां की पूरी सामाजिक संरचना बेपटरी हो रही है. इसकी झलक भी दिखने लगी है. हालत यह हो गई है कि दक्षिण कोरिया में स्कूल में दाखिले के लिए बच्चे नहीं मिल रहे हैं. इसका असर यहां हर साल स्कूल बंद करने पड़ रहे हैं.
रिपोर्ट के मुताबिक दक्षिण कोरिया में इस साल करीब 50 प्राथमिक स्कूलों को बंद करने की नौबत आई है. दक्षिण कोरिया के शिक्षा मंत्रालय के मुताबिक बच्चे नहीं मिलने के कारण इस साल देश के 17 शहरों में 49 स्कूलों को बंद करना पड़ा है. इससे पहले 2024 में 33 और 2022 में 22 स्कूपों को बंद करना पड़ा था. ये सभी स्कूल दाखिले के लिए बच्चे नहीं मिलने के कारण बंद करने पड़ रहे हैं.
2100 तक रह जाएगी आधी आबादीफर्टिलिटी रेट बेहद कम होने की वजह से यहां की आबादी की संरचना भी बदल गई है. दिसंबर 2024 के आंकड़ों को मुताबिक इस देश की आबादी 5.12 करोड़ हैं. इस वक्त इसमें से 20 फीसदी से अधिक आबादी 65 साल से अधिक उम्र के लोगों की है. दक्षिण कोरिया की सरकार ने आबादी में इस बदलाव को राष्ट्रीय आपदा करार दिया है. वह लोगों खासकर युवाओं को बच्चा पैदा करने के लिए प्रोत्साहित करने के लिए आर्थिक सहायता दे रही है.
इस देश में बीते 2015 से फर्टिलिटी रेट में लगातार गिरवाट आ रही है. 2018 में यह गिरकर एक से भी नीचे 0.98 पर आ गया. 2023 में यह सबसे बुरा 0.72 परसेंट पर आ गया था. जनसंख्या विशेषज्ञ बार-बार चेता रहे हैं कि अगर इस दिशा में युद्ध स्तर पर काम नहीं किया गया तो इसी सदी के अंत तक इस देश की आबादी आधी रह जाएगी. इसी कारण अब पहली कक्षा में दाखिले के लिए स्कूलों को बच्चे नहीं मिल रहे हैं. रिपोर्ट के उत्तरी गियोंगसांग प्रांत के 42 स्कूलों में पहली कक्षा में कोई बच्चे नहीं हैं. यही हाल देश के अन्य हिस्सों के हैं.
First Published :
March 02, 2025, 12:38 IST
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