Rajasthan

अब पानी के लिए ढीली करनी होगी जेब, बंद होने की कगार पर 15000 लीटर फ्री पानी स्कीम, इतना होगा चार्ज

जयपुर. राजस्थान के लोगों को अब पानी के लिए अपनी जेब खाली करनी पड़ सकती है. क्योंकि राजस्थान के कई बड़े शहरों में पानी महंगा होने वाला है. जलदाय विभाग पानी की दरें बढ़ाने के संबंध में प्रस्ताव तैयार किया है. जलदाय विभाग के इस प्रस्ताव के तहत 15 हजार लीटर तक फ्री पानी देने की गहलोत सरकार की योजना को बंद किया जा सकता है. गहलोत की इस योजना के बंद होने से राजस्थान के लोगों के खर्चे में पानी का बिल और ऐड हो जाएगा.

आपको बता दें कि जलदाय विभाग ने पूर्ववर्ती गहलोत सरकार के 15 हजार लीटर फ्री पानी योजना को बंद कर पानी की दरें बढ़ाने का प्रस्ताव तैयार कर उच्च स्तर पर भेज दिया है. अब राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा इस पर फैसला लेंगे. उनकी मंजूरी के बाद जलदाय विभाग फ्री पानी स्कीम बंद हो जाएगी.

बिलों में पानी की रेट्स तय होंगे15,000 लीटर तक की छूट का फैसला वापस लेने के बाद पानी और भी अधिक महंगा हो जाएगा. इसके अलावा पानी के बिलों में वाटर चार्ज 55 रुपए, सीवरेज चार्ज 8.15 रुपए छूट भी वापस ली जा सकती है. दरअसल, कांग्रेस सरकार ने 2019 के बजट में शहरों में 15 हजार लीटर तक फ्री पानी देने की स्कीम लागू की थी. इसमें 15 हजार लीटर फ्री पानी का फायदा उन्हीं कनेक्शन पर मिल रहा है, जिनके मीटर चालू है.

दरें बढ़ाने के प्रस्ताव को मंजूरी का इंतजारजलदाय विभाग अब वाटर चार्ज से लेकर स्थायी शुल्क और सीवरेज चार्ज तक में बढ़ोतरी करना चाहता है. 6 साल से बढ़ोतरी नहीं होने के कारण विभाग ने अब पुराना पैटर्न फिर से लागू करने का सुझाव दिया है. पानी की दरों में होने वाली बढ़ोतरी का पैटर्न अब तय नहीं हुआ है. अब सरकार की वर्षगांठ के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा इस पर कोई फैसला ले सकते हैं.

जलदाय विभाग ने इसलिए लिया फैसलाजलदाय विभाग के अनुसार घरेलू कनेक्शनों के 50 प्रतिशत मीटर ही चल रहे हैं, आधे कनेक्शनों के मीटर ही बंद हैं. मीटर बंद होने की वजह से यह पता ही नहीं लग पाता कि किसने कितना पानी काम में लिया है. वहीं पानी की दरें बढ़ाने से पहले सभी कनेक्शनों पर मीटर चालू करने का अभियान चलाना चाहिए. आधे मीटर बंद होने पर दरें बढ़ाई तो विभाग को फायदा नहीं होगा.

Tags: Jaipur news, Local18, Rajasthan news

FIRST PUBLISHED : November 28, 2024, 13:45 IST

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