बाप रे बाप…21 माह की ये लड़की जानें किस बीमारी से पीड़ित? इलाज में लगेंगे 16 करोड़ रुपए, विदेश से आएगी दवा
झुंझुनूं:- करीब इक्कीस माह की याम्या दुर्लभ बीमारी स्पाइनल मस्कुलर एट्रोफी (2) से पीड़ित है. बीमारी का इलाज करवाने के लिए 16 करोड़ रुपए का टीका लगवाने की जरूरत है. याम्या के पिता सुनील का मूल गांव हुकमपुरा है. वर्तमान में लीला की ढाणी में रहते हैं. याम्या के पिता सुनील कुमार व उनकी पत्नी ने बताया कि याम्या व देवांशी उसकी दो बेटियां हैं. बड़ी बेटी देवांशी 4 वर्ष की है और छोटी बेटी याम्या 21 माह की है, जो इस दुर्लभ बीमारी से ग्रसित हैं. 21 महीने की होने के बावजूद याम्या अपने पैर उठाकर नहीं चली, तो जयपुर के डॉक्टर को 12 अक्टूबर 2024 को दिखाया.
याम्या को डॉक्टर ने दवा दे दी. आराम नहीं आने पर फिर से 11 नवबंर 2024 को परामर्श के लिए हॉस्पिटल में लेकर गए, जहां याम्या की विभिन्न प्रकार की जांच की गई. फिर जांच रिपोर्ट आने के बाद 5 दिसम्बर 2024 को जेके लोन हॉस्पिटल के डॉ. प्रियांशु माथुर ने एक पत्र लिखकर दुर्लभ बीमारी से ग्रसित होने की जानकारी परिवार को दी.
टीके की कीमत इतने करोड़याम्या के माता-पिता सरकारी सेवा में सुनील कुमार रघुनाथपुरा ग्राम पंचायत में ग्राम विकास अधिकारी के पद पर कार्यरत हैं. याम्या की मां ममता गुढ़ागौड़जी तहसील कार्यालय में राजस्व लेखाकार के पद पर कार्यरत हैं. इंजेक्शन (टीका) की कीमत लगभग 16 करोड़ है. इस बीमारी का इलाज लगभग 22 से 24 महीने की उम्र तक ही किया जाता है. याम्या लगभग 21 महीने की हो चुकी है. अब उनके पास इलाज के लिए कुछ महीने शेष हैं. याम्या को टीका लगवाने में मात्र एक महीने का समय शेष रहा है. एक महीने में टीका नहीं लगेगा, तो उनकी बेटी की जान को खतरा भी हो सकता है.
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देश-प्रदेश की सरकारों से भी मदद की लगाई गुहारयाम्या के पिता ने देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व प्रदेश के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा सहित देश-प्रदेश की जनता से बेटी याम्या को बचाने की गुहार लगाई है. प्रदेश सरकार के राज-सम्बल पोर्टल पर भी याम्या की पूरी जानकारी अपलोड की है. आईपीएस विजय सिंह गुर्जर ने भी सहयोग की अपील की है. विधायक भगवानाराम सैनी, पूर्व चिकित्सा मंत्री राजकुमार शर्मा नवलगढ़, पूर्व मंत्री राजेन्द्र सिंह गुढ़ा, पूर्व विधायक शुभकरण चौधरी सहित अनेक सहयोग की अपील कर रहे हैं. पिता ने बताया कि किसी सहारे से बैठ तो पा रही है, लेकिन खुद के बल चल नहीं सकती है. डॉक्टरों ने कहा है कि इस बीमारी के इलाज के लिए जोलगेनेस्मा इंजेक्शन लगवाने की जरूरत है. इसे अमरीका से मंगवाना पड़ता है.
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FIRST PUBLISHED : December 18, 2024, 17:16 IST