Rajasthan

अजमेर में पुलिस बनी फरिश्ता, अनाथ बेटी का मायरा भरकर पेश की मानवता की मिसाल, लोग हुए भावुक

Last Updated:November 15, 2025, 09:20 IST

Ajmer News: अजमेर जिले के पीसांगन थाना क्षेत्र में पुलिस ने मानवता और संवेदनशीलता की ऐसी अनूठी मिसाल पेश की है. यहां पुलिस टीम ने अनाथ बेटी समित्रा का मायरा भरते हुए 51,751 रुपये नकद और 20,000 रुपये की ज्वेलरी भेंट की, जिससे परिवार को आर्थिक राहत मिली और शादी की तैयारियों में बड़ी सहायता पहुंची. पुलिस के इस कदम ने स्थानीय लोगों को भावुक कर दिया और यह संदेश दिया कि मानवता ही सबसे बड़ा धर्म है.

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अजमेर. राजस्थान के अजमेर जिले के पीसांगन थाना क्षेत्र में पुलिस ने मानवता और संवेदनशीलता की ऐसी अनूठी मिसाल पेश की, जिसने पूरे क्षेत्र में चर्चा बटोर ली. यहां पुलिस अधिकारियों ने एक अनाथ बेटी का मायरा भरकर न केवल सामाजिक जिम्मेदारी निभाई, बल्कि समाज के सामने करुणा और सहयोग का प्रतीक उदाहरण भी प्रस्तुत किया.

सुमित्रा, जिसने मात्र तीन साल की उम्र में मां को खो दिया था और छह वर्ष की होते-होते पिता भी इस दुनिया से विदा हो गए. बचपन से ही अभावों के बीच पली-बढ़ी इस बच्ची की परवरिश की जिम्मेदारी उसकी नानी और मामा पर आ गई. आर्थिक हालत कमजोर होने के बावजूद मामा ने अपनी भांजी को बेहतर से बेहतर देने का प्रयास कभी नहीं छोड़ा. लेकिन शादी जैसे बड़े दायित्व में आर्थिक बोझ और बढ़ गया.

नकदी के साथ ज्लेवरी भी भेंट की

इसी दौरान अजमेर के पीसांगन थाना प्रभारी प्रहलाद सहाय को इस परिवार की स्थिति के बारे में जानकारी मिली. हालात जानकर अधिकारी प्रहलाद सहाय और उनकी टीम ने सहयोग करने का बीड़ा उठाया. इसके बाद वह कदम उठाया जो समाज के लिए प्रेरणा बन गया. उन्होंने सुमित्रा को बेटी मानते हुए राजस्थानी परंपरा के अनुसार मायरे की रस्म निभाई. पुलिस की टीम ने मायरा भरते हुए 51,751 रुपये नकद और 20,000 रुपये की ज्वेलरी भेंट की, जिससे परिवार को आर्थिक राहत मिली और शादी की तैयारियों में बड़ी सहायता पहुंची.

मानवता ही सबसे बड़ा धर्म है

पुलिस का यह कदम स्थानीय लोगों के बीच भावुकता और सम्मान का कारण बना. मायरे के दौरान मौजूद लोगों ने पुलिस के इस कार्य की सराहना की. लोगों ने कहा कि पुलिस ने केवल कानून व्यवस्था संभालने का काम कर रही है, बल्कि समाज के प्रति अपनी संवेदनशीलता को भी सिद्ध किया है. एक अनाथ और जरूरतमंद बेटी की सहायता कर पुलिस ने यह संदेश दिया कि मानवता ही सबसे बड़ा धर्म है.

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दीप रंजन सिंह 2016 से मीडिया में जुड़े हुए हैं. हिंदुस्तान, दैनिक भास्कर, ईटीवी भारत और डेलीहंट में अपनी सेवाएं दे चुके हैं. 2022 से हिंदी में अपनी सेवाएं दे रहे हैं. एजुकेशन, कृषि, राजनीति, खेल, लाइफस्ट…और पढ़ें

दीप रंजन सिंह 2016 से मीडिया में जुड़े हुए हैं. हिंदुस्तान, दैनिक भास्कर, ईटीवी भारत और डेलीहंट में अपनी सेवाएं दे चुके हैं. 2022 से हिंदी में अपनी सेवाएं दे रहे हैं. एजुकेशन, कृषि, राजनीति, खेल, लाइफस्ट… और पढ़ें

Location :

Ajmer,Rajasthan

First Published :

November 15, 2025, 09:20 IST

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शादी में आए संकट पर पुलिस बनी परिजन, अनाथ सुमित्रा का मायरा भरकर जीता दिल

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