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Last Updated:October 25, 2025, 11:51 IST

Jaipur Rudraghanteshwari Mata Mandir: जयपुर के रुद्रघंटेश्वरी माता मंदिर की मान्यता बेहद अनोखी है. यहां जो भी भक्त सच्चे दिल से प्रार्थना करता है, उसकी हर मनोकामना माता पूरी करती हैं. जब इच्छा पूरी हो जाती है, तो भक्त माता के दरबार में घंटी बांधकर धन्यवाद अर्पित करता है. पूरा मंदिर भक्तों की श्रद्धा से गूंजता है.

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जयपुर: जयपुर अपने प्राचीन मंदिरों और यहां की खास मान्यताएं और परम्पराओं के लिए दुनियाभर में प्रसिद्ध हैं इसलिए यहां लोग मंदिरों में दर्शन के लिए दूर-दूर से पहुंचते हैं, ऐसे ही जयपुर के सूरजपोल बाजार के दर्जियों का रास्ता में स्थित रुद्रघंटेश्वरी महाकालिका मंदिर जहां वर्षों से घंटियां अर्पित करने की अनोखी मान्यता हैं. इसी अनोखी मान्यता के बारे में जानने के लिए लोकल-18 ने मंदिर के पुजारी संजीव कुमार शर्मा से बात की तो वह बताते हैं कि वह बताते हैं कि वर्षों साथ यहां रुद्रघंटेश्वरी माता के सामने लोग अपनी परेशानियों के लिए मनोकामना मांगते हैं.

जब उनकी मनोकामना पूर्ण हो जाती हैं तब दौबारा वह मंदिर में आकर घंटियां बांधते हैं. इसलिए इस माता के मंदिर को लोग घंटियों वाली माता के रूप में जानते हैं. इसलिए हर दिन लोग यहां माता के मंदिर में दर्शन और मनोकामना के लिए दूर-दूर से आते हैं.

250 वर्ष पुरानी हैं रुद्रघंटेश्वरी माता की मूर्ति मंदिर के पुजारी बताते हैं कि मंदिर में स्थापित माता रुद्रघंटेश्वरी की मूर्ति 250 वर्ष पुरानी हैं, जिसके मंदिर में 40 वर्ष पहले विधि विधान से स्थापित किया गया था. मंदिर में रुद्रघंटेश्वरी माता महालक्ष्मी, सरस्वती और आदिशक्ति भुवनेश्वरी स्वरूप विराजमान हैं. मां काली की प्रतिमा भिंडों का रास्ता देवकीनंदन मूर्तिकार के गोदाम में आधी अधूरी बनीं हुई रखी थी. जिसके बाद उनके पिता को माता ने स्वप्न में कहां की मूर्ति को पूरी तरह तैयार करवाया जाए जिसके बाद 40 साल पहले माघ शुक्ला नवमी को 71 विद्वानों ने दुर्गा सप्तशती व रूद्र पाठ कर माता की प्रतिमा को विधि-विधान से स्थापित किया गया. मंदिर में मूर्ति स्थापना के बाद ही मंदिर में भक्तों ने छह माह में चांदी की 108 घंटियां स्थापित करवाई, जिसके बाद से यहां घंटियां अर्पित करने की अनोखी मान्यता बन गई जो आज भी बरकरार हैं.

भगवान शिव के 108 नामों से विभूषित हैं मंदिर में स्थापित घंटियांरुद्रघंटेश्वरी माता के इस मंदिर में सैकड़ों घंटियां लगी और माता रानी 108 चांदी के छत्र छाया में विराजमान है. मंदिर में विराजित घंटियां भगवान शिव के 108 नामों से विभूषित है, जो रुद्र घंटिका के नाम से प्रसिद्ध हैं. हर दिन मंदिर में भक्त घंटियां अर्पित करते हैं लेकिन मंदिर में इतनी जगह नहीं हैं सभी घंटियों को मंदिर में लगाया जा सके. मंदिर में खासतौर पर शारदीय और चैत्र नवरात्र में भक्तों की भीड़ उमड़ती है. मंदिर में भक्तों द्वारा घंटियों के अलावा चांदी के छत्र भी अर्पित किए हैं जो मंदिर में लगे हुए हैं. मंदिर का पूरा दरबार घंटियों से सजा हैं जो बेहद सुंदर लगता हैं. मंदिर वास्तुकला कोई विशेष नहीं हैं बल्कि एक घर के अंदर ही मंदिर छोटे रूप में बना हुआ हैं जहां भक्त दर्शन के लिए पहुंचते हैं.

Jagriti Dubey

With more than 6 years above of experience in Digital Media Journalism. Currently I am working as a Content Editor at News 18. Here, I am covering lifestyle, health, beauty, fashion, religion, career, politica…और पढ़ें

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Location :

Jaipur,Rajasthan

First Published :

October 25, 2025, 11:51 IST

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जयपुर का वो मंदिर जहां पूरी होती है मन्नत- भक्त खुशी में बांधते हैं घंटियां

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