Rajasthan

Shardiya Navratri 2021, Shardiya Navratri Kalash Sthapana Time – शारदीय नवरात्र कल से, नौ दिन तक होगी माता रानी की आराधना, पांच दिन बन रहे विशेष योग

Shardiya Navratri 2021 शक्ति की आराधना के महापर्व नवरात्र की शुरुआत गुरुवार से हो रही है। भगवान गोविन्द की नगरी राजधानी जयपुर में नवरात्र के आठ दिनों शक्ति की आराधना में लीन रहेगी।

By: santosh

Updated: 06 Oct 2021, 10:17 AM IST

जयपुर। Shardiya Navratri 2021: शक्ति की आराधना के महापर्व नवरात्र की शुरुआत गुरुवार से हो रही है। भगवान गोविन्द की नगरी राजधानी जयपुर में नवरात्र के आठ दिनों शक्ति की आराधना में लीन रहेगी। घरों से लेकर मंदिरों तक हर जगह मां के स्वागत की तैयारियों का जोर है। नवरात्र के आठ दिनों तक मंदिरों और घरों में मां भगवती की आराधना होगी। खास बात यह है कि आठ दिन के नवरात्र में पांच दिन विशेष योग बन रहे है। जो मां भगवती की आराधना करने वाले भक्तों को विशेष फल देने वाले होंगे। साथ ही खरीदारी के लिए भी शुभ रहेंगे। इनमें रवियोग, राजयोग, कुमार योग, सर्वार्थसिद्धि योग का संयोग रहेगा। नवरात्र की खरीदारी के कारण बाजारों में रौनक दिखाई देने लगी है।

यहां होगी घट स्थापना
दुर्गापुरा स्थित दुर्गा माता के मंदिर में महंत महेन्द्र भट्टाचार्य के सान्निध्य में सुबह 6.09 बजे से घट स्थापना की जाएगी। 12 अक्टूबर को सप्तमी की पूजा होगी। कनक घाटी स्थित मंदिर देवी श्रीमनसा माता में महंत अंजनकुमार गोस्वामी के सान्निध्य में घट स्थापना की जाएगी। प्रवक्ता मानस गोस्वामी ने बताया कि नित्य चंडीपाठ, शृंगार एवं पुष्पांजलि आदि कार्यक्रम होंगे। मानबाग स्थित राजराजेश्वरी, रामगंज स्थित रूद्रघंटेश्वरी, सांगानेरी गेट स्थित काली माता, झालाना वन क्षेत्र स्थित कालक्या माता, खानिया बंधा स्थित आशावरी माता, ब्रह्मपुरी स्थित गायत्री शक्तिपीठ, राजपार्क स्थित वैष्णो देवी मंदिर सहित सभी प्रमुख देवी मंदिरों में शुभ मुहूर्त में घट स्थापना होगी। मंदिरों में दुर्गा सप्तशती, दुर्गा चालिसा के पाठ सहित कई धार्मिक आयोजन होंगे।

नौ स्वरूपों की होगी पूजा
ज्योतिषाचार्य पं. पुरूषोत्तम गौड़ ने बताया कि आश्विन प्रतिपदा पर घटस्थापना सुबह 11.52 से 12.38 बजे तक अभिजीत मुहूर्त में होगी। इस बार गुरुवार से नवरात्रि शुरू होकर गुरुवार के ही दिन इसका समापन होना प्रजा के लिए शुभ है। नवरात्र में चतुर्थी की तिथि का क्षय होने से चंद्रघंटा और कुष्मांडा माता की पूजा एक ही दिन की जाएगी। भक्त मां शैलपुत्री, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कुष्मांडा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी, मां सिद्धियात्री के स्वरूपों की पूजा अर्चना करेंगे।

पूजा में समाजजनों का प्रवेश रहेगा निषेध
कोरोना के चलते बार बड़े स्तर पर दुर्गा पंडाल इस बार भी नहीं सजेंगे। राजधानी में प्रवासरत कोलकाता, पश्चिम बंगाल के लोग घरों से ही पूजा अर्चना करेंगे। प्रतापनगर स्थित सरबोजनिन कल्याण संघ की ओर से कोरोना गाइडलाइन की पालना के साथ दुर्गा पूजा सोमवार से जेएलएन मार्ग पर होगी। कालीबाड़ी सोसायटी की ओर से मालवीय नगर सेक्टर 10 के कालीबाड़ी पार्क स्थित कालीबाड़ी मंदिर में षष्टी से पूजा शुरू होगी। बनीपार्क स्थित जयपुर दुर्गाबाड़ी एसोसिएशन की ओर से बड़ा आयोजन नहीं किया जाएगा। एसोसिएशन अध्यक्ष सुदिप्तो सेन ने बताया कि अनुष्ठान, विशेष पूजा विद्वानों की मौजूदगी में सोमवार से शुरू होंगे। समाजजनों और अन्य लोगों की आवाजाही निषेध रहेगी। कार्यक्रम सोशल मीडिया के माध्यम से साझा किए जाएंगे।









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