बारिश के इंतजार में सूखी बाजरे की फसल, किसान परेशान– News18 Hindi

जोधपुर. देश में मानसून (Monsoon) की बारिश से कई राज्यों में बाढ़ जैसे हालात होने लगे हैं. प्रदेश में भी मानसून की बारिश से कई जिले लबालब हो रहे हैं. लेकिन जोधपुर जिले में मानसून की बेरुखी किसानों (Farmets) पर भारी पड़ रही है. जोधपुर जिले में अब तक मानसून की अच्छी बारिश नहीं हुई है. लिहाजा मानसून की बेरुखी से किसानों की बुआई (sowing) पर ब्रेक लग गया है. जोधपुर जिले में मानसून की बेरुखी से किसानों के चेहरों पर चिंता की लकीरें दिखाई देने लगी हैं. जिले के सभी इलाकों में मानसून की अच्छी बारिश का इंतजार है. जिले में इस बार छितराई हुई बारिश हो रही है. इससे खासकर किसानों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.
मारवाड़ के इस इलाके में इस बार मेघ मेहरबान नहीं हैं. अगस्त शुरू हो जाने के बावजूद अब तक मानसून की अच्छी बारिश नहीं हुई है. लिहाजा खरीफ फसलों की बुवाई प्रभावित होने लगी है. आमतौर पर जुलाई में जिले में 70 फीसदी तक बुवाई हो जाती है, लेकिन इस बार बारिश नहीं होने से महज 55 फीसदी ही बुवाई हुई है. इसको लेकर किसान चिंतित हैं
मारवाड़ में बाजरा की फसल पर संकट के बादल
जिले में बारिश टुकड़ों-टुकड़ों में हो रही है. कई जगह हल्की बारिश हो रही है तो कई इलाकों में बारिश की अब तक एक बूंद नहीं गिरी है. खासकर मारवाड़ में बाजरा की बुवाई पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं. जोधपुर जिले में इस बार 4 लाख हेक्टेयर में बाजरा बुवाई का लक्ष्य रखा गया है. लेकिन मानसून की बेरुखी से 1.75 लाख हेक्टेयर में ही बाजरा की बुवाई हुई है. इसमें भी बारिश नहीं होने से 50 प्रतिशत फसल जल चुकी है.
बारिश न होने से बुवाई के बाद जलने लगी फसलें
जोधपुर जिले में बाजरा की फसल तो जलकर नष्ट हो ही रही है. इसके साथ ही मूंग को 1.10 लाख हेक्टेयर में बुवाई की गई थी. वो भी बारिश नहीं होने से 25 प्रतिशत फसल जल चुकी है. कृषि विभाग के उप निदेशक डॉ. जेआर भाखर ने भी बारिश नही होने से चिंता जाहिर की है. उन्होंने कहा कि मानसून की बेरुखी से बुवाई पर असर पड़ रहा है. लिहाजा किसान जो बुवाई कर चुके है. उनकी फसलें भी खराब होने लगी हैं.
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