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धनतेरस पर अलवर में झाड़ू खरीदने की परंपरा और उसका महत्व.

Last Updated:October 19, 2025, 14:16 IST

धनतेरस के पावन अवसर पर अलवर जिले के बाजारों में सुबह से ही खरीदारों की भीड़ उमड़ पड़ी. विशेषकर झाड़ू की दुकानों पर लंबी कतारें देखने को मिली. धार्मिक मान्यता के अनुसार झाड़ू को माता लक्ष्मी का प्रतीक माना जाता है, और इसे खरीदना शुभ होता है. यह परंपरा न सिर्फ आध्यात्मिक आस्था से जुड़ी है, बल्कि स्वच्छता, स्वास्थ्य और सकारात्मक ऊर्जा के महत्व को भी दर्शाती है.

अलवर. जिले में धनतेरस के अवसर पर बाजारों में भारी रौनक देखने को मिली. अलवर शहर, किशनगढ़ बास और खैरथल के बाजारों में सुबह से ही खरीदारों की भीड़ उमड़ पड़ी. खासकर झाड़ू की दुकानों पर लोगों की लंबी कतारें लगी रही. महिलाओं ने बताया कि कार्तिक मास की त्रयोदशी तिथि को मनाए जाने वाले धनतेरस के दिन झाड़ू खरीदना अत्यंत शुभ माना जाता है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, झाड़ू को माता लक्ष्मी का प्रतीक माना गया है.

मान्यता है कि गंदगी और अव्यवस्था वाले घर में ‘अलक्ष्मी’ यानी दरिद्रता का वास होता है, जबकि स्वच्छ घर में लक्ष्मी का प्रवेश होता है. उन्होंने बताया कि सबसे अच्छी झाड़ू सीख वाली होती है, जिसको अच्छा माना जाता है, इसलिए धनतेरस पर नई झाड़ू खरीदकर घर की सफाई करना देवी लक्ष्मी को आमंत्रित करने का प्रतीक माना जाता है. धनतेरस का यह पर्व केवल धार्मिक दृष्टि से ही नहीं, बल्कि स्वास्थ्य और मानसिक शांति से भी जुड़ा है. माना जाता है कि झाड़ू घर की नकारात्मक ऊर्जा को दूर करती है और सकारात्मक ऊर्जा का संचार करती है. वैज्ञानिक दृष्टिकोण से देखें तो झाड़ू घर की धूल-मिट्टी और एलर्जेंस को हटाकर वायु गुणवत्ता सुधारती है, जिससे श्वसन स्वास्थ्य बेहतर होता है और मानसिक सुकून मिलता है.

पूजा विधि में भी झाड़ू का विशेष स्थान है, धनतेरस के दिन लाल मूठ वाली झाड़ू को सबसे शुभ माना जाता है. इसे घर लाने के बाद माता लक्ष्मी, धनवंतरि और कुबेर की पूजा के साथ इसका पूजन किया जाता है. झाड़ू पर सफेद धागा बांधकर इसका आदरपूर्वक उपयोग किया जाता है. धनतेरस पर झाड़ू खरीदना सिर्फ एक परंपरा नहीं, बल्कि एक सकारात्मक शुरुआत का प्रतीक है. यह स्वच्छता, समृद्धि और स्वास्थ्य के महत्व को दर्शाता है जैसे नया वर्ष एक “क्लीन स्वीप” के साथ शुभ आरंभ करता है, वैसे ही धनतेरस भी सुख-समृद्धि और शुभ ऊर्जा का संदेश देता है.

Monali Paul

Hello I am Monali, born and brought up in Jaipur. Working in media industry from last 9 years as an News presenter cum news editor. Came so far worked with media houses like First India News, Etv Bharat and NEW…और पढ़ें

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Location :

Alwar,Rajasthan

First Published :

October 19, 2025, 14:16 IST

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जानिए धनतेरस पर झाड़ू खरीदने की परंपरा और उसका महत्व

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