UGC Guidelines: विदेशी संस्थानों से पढ़ाई करने वालों के लिए जरूरी खबर, अब इन डिग्रियों को मिलेगी मान्यता!

UGC Guidelines: अगर आप विदेशी संस्थानों से पढ़ाई कर रहे हैं, तो आपके लिए एक अच्छी खबर है. अब भारत में भी विदेशी संस्थानों से प्राप्त डिग्रियों को भी मान्यता मिल सकती है. इसके लिए यूजीसी (UGC) ने विदेशी संस्थानों से प्राप्त डिग्रियों और ऑनलाइन या डिस्टेंस एजुकेशन के तहत प्राप्त डिग्रियों को मान्यता देने के लिए ड्राफ्ट गाइडलाइंस जारी किए हैं. गाइडलाइंस के ड्राफ्ट में कहा गया है कि ये नियम मेडिकल, फार्मेसी, नर्सिंग, लॉ और आर्टिटेक्ट जैसे विषयों में “विदेशी शैक्षणिक संस्थानों द्वारा प्रदान की गई प्रोफेशनल क्वालीफिकेशन” पर लागू नहीं होंगे.
विदेशी डिग्रियों को भी मिल सकती है मान्यता
किसी विदेशी बोर्ड के तहत स्कूलों से शैक्षिक योग्यता या किसी अन्य कैंपस से किसी भी डिग्री के लिए भी गाइडलाइंस जारी किए गए थे. नियम ऐसे समय में आए हैं जब विदेशी विश्वविद्यालय गुजरात के GIFT सिटी में कैंपस स्थापित करने के एडवांस्ड फेज में हैं और भारतीय विश्वविद्यालय दोहरी या संयुक्त डिग्री प्रदान करने के लिए विदेशी संस्थानों के साथ सहयोग कर रहे हैं. यूजीसी ने कहा कि किसी विदेशी उच्च शिक्षण संस्थान की डिग्री को केवल तभी मान्यता दी जाएगी और समकक्षता प्रदान की जाएगी, जब कोई छात्र अपने देश द्वारा मान्यता प्राप्त किसी संस्थान में फिजिकल रूप से उपस्थित होता है. इसमें कहा गया है कि प्रोग्राम में एडमिशन के लिए प्रवेश स्तर की आवश्यकताएं भी भारत में संबंधित प्रोग्राम के समान होनी चाहिए.
बनेंगे ऑनलाइन पोर्टल
यूजीसी के अनुसार, भारतीय सेटअप में छात्रों के सुचारू आवागमन के लिए विदेशी संस्थानों से प्राप्त योग्यताओं के समकक्ष आवेदन प्राप्त करने के लिए एक समर्पित ऑनलाइन पोर्टल बनाया जाएगा. यह समतुल्यता प्रमाणपत्र किसी विदेशी योग्यता और किसी भारतीय बोर्ड या विश्वविद्यालय द्वारा समान स्तर पर प्रदान की गई योग्यता के बीच “योग्यता की समानता” को प्रमाणित करेगा. प्रमाणपत्र भारतीय विश्वविद्यालयों में प्रवेश या रोजगार उद्देश्यों के लिए मान्य होगा.
ड्राफ्ट गाइडलाइंस के अनुसार प्रवेश मानदंड की “समानता” भारत और अन्य देशों में प्रोग्राम की न्यूनतम अवधि, न्यूनतम क्रेडिट आवश्यकताओं और मूल्यांकन प्रक्रियाओं की समानता के आधार पर इस उद्देश्य के लिए गठित एक स्थायी समिति द्वारा निर्धारित की जाएगी. गाइडलाइंस के अनुसार, “भारत और विदेशों में ऑफर की जाने वाली कोर्सों की विभिन्न श्रेणियों में क्रेडिट की जांच की जा सकती है और समानता स्थापित की जा सकती है (जैसे कि बुनियादी पृष्ठभूमि पाठ्यक्रम, अनुशासनात्मक कोर पाठ्यक्रम, अनुशासनात्मक वैकल्पिक पाठ्यक्रम, क्रॉस-अनुशासनात्मक पाठ्यक्रम, प्रयोगशाला पाठ्यक्रम इत्यादि), ताकि समतुल्यता ‘फ्लेवर’ में समानता को भी प्रतिबिंबित कर सके.”
गाइडलाइंस के लिए भेज सकते हैं फीडबैक
हालांकि, प्रवेश मानदंड में अंतर होने पर UGC न्यूनतम क्रेडिट आवश्यकताओं पर विचार करेगा. जबकि फ्रैंचाइज़ व्यवस्था के तहत पूरा किए गए प्रोग्राम मान्यता के लिए योग्य नहीं होंगे. अन्य कैंपसों में उन लोगों को केवल तभी मान्यता दी जाएगी, यदि वे अपने स्थान के देश और संबंधित घरेलू देशों में मान्यता आवश्यकताओं को पूरा करते हैं. विदेशी बोर्डों से संबद्ध और विदेश में शिक्षा की विदेशी प्रणाली की पेशकश करने वाले स्कूलों से किसी भी शिक्षा को केवल तभी मान्यता दी जाएगी और समकक्षता प्रदान की जाएगी, यदि शिक्षा रेगुलर मोड में की गई हो. ड्राफ्ट गाइडलाइंस 16 सितंबर तक प्रतिक्रिया के लिए खुले हैं.
ये भी पढ़ें…
लाखों उम्मीदवारों को SSC MTS रिजल्ट का बेसब्री से इंतजार, जानें कब होगा जारी
सीबीएसई CTET 2023 का एडमिट कार्ड जारी, यहां से करें डाउनलोड
.
Tags: Ugc
FIRST PUBLISHED : August 18, 2023, 09:17 IST