Rajasthan

GK: क्यों मनाई जाती है महावीर जयंती, क्या होता है इस दिन खास? जानें यहां ऐसे सवालों के जबाव

Last Updated:April 10, 2025, 09:34 IST

Mahavir Jayanti 2025: महावीर जयंती जैन समुदाय का महत्वपूर्ण पर्व है, जो भगवान महावीर की 2623वीं जयंती के रूप में श्रद्धा और धूमधाम से मनाई जाती है.GK: क्यों मनाई जाती है महावीर जयंती, क्या होता है इस दिन खास?

Mahavir Jayanti 2025: क्यों मनाई जाती है महावीर जयंती?

Mahavir Jayanti 2025: महावीर जयंती जैन समुदाय का एक प्रमुख और पवित्र पर्व है, जो भगवान महावीर की जयंती के रूप में मनाई जाती है. यह दिन विशेष रूप से जैन धर्म के अनुयायियों के लिए अत्यधिक महत्व रखता है और इसे श्रद्धा और धूमधाम से मनाया जाता है. इस दिन को भगवान महावीर के जन्म की 2623वीं वर्षगांठ के रूप में मनाया जा रहा है. महावीर जयंती इस साल 10 अप्रैल को मनाई जा रही है. इस दिन की तिथि और समय निम्नलिखित है.त्रयोदशी तिथि प्रारंभ: 09 अप्रैल 2025 को रात 10:55 बजेत्रयोदशी तिथि समाप्त: 11 अप्रैल 2025 को रात 01:00 बजे

क्यों मनाया जाती है महावीर जयंतीमहावीर जयंती का जैन समुदाय के लिए गहरा धार्मिक महत्व है. यह दिन भगवान महावीर को श्रद्धांजलि देने और उनकी शिक्षाओं को याद करने का है. भगवान महावीर को जैन धर्म के अंतिम तीर्थंकर के रूप में पूजा जाता है. वह शांति, अहिंसा और सत्य के प्रतीक माने जाते हैं. उनके जीवन और उपदेशों ने समाज में सच्चे धर्म और सद्गुणों को फैलाया है. भगवान महावीर ने अपने जीवन में एक साधु जीवन जीने का उदाहरण प्रस्तुत किया है. उनका जन्म एक राजसी परिवार में हुआ था, लेकिन वह संसारिक सुखों से परे रहकर अपने जीवन का उद्देश्य खोजने के लिए तपस्या में लीन हो गए. 30 वर्ष की आयु में उन्होंने घर, परिवार और राज्य छोड़ दिया और 12 वर्षों की कठोर साधना के बाद उन्होंने आत्मज्ञान प्राप्त किया.

क्या है महावीर का बचपन का नाम?महावीर जयंती का संबंध भगवान महावीर के जीवन से जुड़ी एक महत्वपूर्ण कथा से है. भगवान महावीर का जन्म राजा सिद्धार्थ और रानी त्रिशला के घर हुआ था. उनका जन्म 599 ईसा पूर्व में बिहार के कुंडलग्राम में हुआ, हालांकि दिगंबर जैन मानते हैं कि उनका जन्म 615 ईसा पूर्व में हुआ. बचपन में उनका नाम वर्धमान रखा गया. भगवान महावीर का जीवन सत्य, अहिंसा और पवित्रता के सिद्धांतों का आदर्श है. उन्होंने अपने जीवन में कभी भी किसी को कष्ट नहीं दिया और हमेशा सत्य के मार्ग पर चले. उनके जीवन और कार्यों से जैन धर्म की सशक्त नींव पड़ी.

महावीर जयंती के दिन करते हैं ये काममहावीर जयंती के दिन जैन समुदाय के लोग विभिन्न धार्मिक अनुष्ठान करते हैं. इनमें निम्नलिखित प्रमुख हैं.पवित्र स्नान – भक्त सुबह उठकर पवित्र स्नान करते हैं.अभिषेक – भगवान महावीर की मूर्ति का अभिषेक किया जाता है और फूल अर्पित किए जाते हैं.रथ यात्रा – भगवान महावीर की मूर्ति को रथ पर रखकर श्रद्धालु पूरे समुदाय में यात्रा करते हैं.दान और सहायता – लोग जरूरतमंदों को कपड़े और भोजन दान करते हैं.उपवास – इस दिन पर बहुत से भक्त कठोर उपवास रखते हैं.मंदिर यात्रा – भक्त जैन मंदिरों में जाकर प्रवचन सुनते हैं और पूजा करते हैं.सात्विक भोजन – इस दिन सात्विक भोजन का सेवन किया जाता है, जिसमें लहसुन, प्याज़ और अन्य तामसिक पदार्थों का सेवन नहीं किया जाता है.

महावीर जयंती 2025: भगवान महावीर की शिक्षाएंभगवान महावीर ने जिन प्रमुख सिद्धांतों का प्रचार किया, वे निम्नलिखित हैं.अहिंसा (Non-violence): किसी भी जीव को हानि पहुँचाने से बचना.सत्यनिष्ठा (Truthfulness): हमेशा सत्य बोलना और झूठ से दूर रहना.पवित्रता (Purity): सांसारिक सुखों से दूर रहकर आत्मनिर्भर जीवन जीना.अनासक्ति (Detachment): किसी भी व्यक्ति या भौतिक वस्तु से आसक्ति नहीं रखना.चोरी न करना (Non-stealing): किसी भी वस्तु को चुराने से बचना, विशेष रूप से उन वस्तुओं से जो हमें उपहार के रूप में नहीं मिली हों.

ये पढ़ें…पटवारी, लेखपाल बनने की है ख्वाहिश, तो यहां है सुनहरा मौका, 92000 होगी सैलरी

First Published :

April 10, 2025, 09:34 IST

homecareer

GK: क्यों मनाई जाती है महावीर जयंती, क्या होता है इस दिन खास?

Source link

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button

Uh oh. Looks like you're using an ad blocker.

We charge advertisers instead of our audience. Please whitelist our site to show your support for Nirala Samaj