कपड़ों पर हाथों की छपाई वाले राजस्थान की बगरू प्रिंट की विदेशों तक डिमांड

अंकित राजपूत/जयपुर : राजस्थान के हर क्षेत्र में कला बसती है और लोगों के हाथों में हुनर का जादू है जिस चीज को छू लेते हैं और उसमें अपनी हाथों की कलाकारी करते ही वह किमती बन जाती है. ऐसे ही 400 सालों से फेमस बगरू प्रिंट जिसकी डिमांड विदेशों तक है. जयपुर से लगभग 30 किलोमीटर दूर स्थित बगरू कस्बे की कपड़े पर की जाने वाली बगरू प्रिंट अंतरराष्ट्रीय स्तर प्रसिद्ध है. इसकी डिमांड जापान, जर्मनी, लंदन, ब्रिटेन, अमरीका, ऑस्ट्रेलिया, इटली, न्यूजीलैण्ड, दुबई, इंगलैंड सहित अन्य देशों सबसे ज्यादा है
बगरू प्रिंट से जुड़े हैं सैकड़ों परिवार
बगरू प्रिंट का कार्य विस्तृत रूप से बगरू क्षेत्र में फैला हुआ है जिसमें हजारों परिवार इस कार्य को कर रहे हैं जिसमें 20 हजार से अधिक लोगों को रोजगार प्राप्त हैं बगरू में विश्वविख्यात हाथ ठप्पा छपाई का उद्योग है जिसमें कपड़े पर हाथों से विभिन्न कलर्स और डिजाइन बनाई जाती हैं कपड़ा तैयार होने के बाद यह कपड़ा एक्सपोर्टर के जरिए दिल्ली, मुम्बई, गुजरात भेजा जाता है और वहां से विदेशों में निर्यात किया जाता है बगरू प्रिंट के इस कलात्मक कारीगरी के काम को विशेष रूप से छींपा समुदाय के लोग सालों से प्राकृतिक तरीकों से ब्लॉक प्रिंट करते आ रहे हैं बगरू प्रिंट में सबसे अधिक लोग छिपा समुदाय से ही जुड़े हुए हैं.
कैसे किया जाता हैं कपड़ों पर बगरू
प्रिंटबगरू प्रिंट में कपड़े पर छपाई का काम परंपरागत तरीके से लकड़ी के स्टैम्पनुमा टुकड़ों से किया जाता है जिसे ब्लॉक कहते हैं। इन ब्लॉकों के निचले भाग पर कलात्मक डिजाइनें होती हैं। बगरू प्रिंट में एक साड़ी पर सामान्य प्रिंट करने में तीन कारीगरों को लगभग डेढ़ से दो घंटे लगते हैं. बगरू प्रिंट विशेष रूप से महिलाओं और पुरुषों के कपड़ों पर किया जाता है साथ साथ घरेलू सजावट के कपड़ों में भी बगरू प्रिंट का शानदार योगदान होता है बगरू प्रिंट में महिलाओं के परिधानों के साथ पुरुषों के जैकेट, कोटियां, कुर्ते पायजामे, धोतियां, दुपट्टे में भी देखने को मिलता है. इसके अलावा बेडशीट, परदे आदि पर भी बगरू प्रिंट किया जा रहा है.
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FIRST PUBLISHED : November 1, 2023, 16:40 IST