राजस्थान में सब्जियों की खेती से मालामाल हो रहे किसान, डूंगरपुर के इन 5 किसानों की बदली किस्मत!
रिपोर्ट: जुगल कलाल
डूंगरपुर. राजस्थान के आदिवासी बाहुल्य डूंगरपुर के किसानों के बीच खेती को लेकर जागरूकता बढ़ी है. यहां के किसान अब पारंपरिक खेती छोड़ सब्जियों की खेती व बागवानी का रुख कर रहे हैं. इससे उनकी आमदनी में इजाफा हुआ और फसल खराबे की चिंता से भी मुक्त हो गए हैं. दरअसल किसान खेती नई तकनीक अपनाकर नया अध्याय लिख रहे हैं. क्षेत्र में कई किसान ऐसे हैं, जो पारंपरिक खेती छोड़कर सब्जियों की खेती कर रहे हैं और सालाना लाखों रुपये कमा रहे हैं. आप भी जानिए डूंगपुर के इन किसानों के बारे में.
नरेश डामोर: डूंगरपुर के सतीरामपुर गांव के रहने वाले नरेश डामोर वर्ष 2015 में खनन विभाग से सेवानिवृत्त हुए थे. इसके बाद उन्होंने समय को गुजारने और समय का सही इस्तेमाल करने के लिए अपनी खाली पड़ी 30 बीघा जमीन पर खेती करना शुरू कर दी. अब वे मौसम के अनुसार खेती करते हैं. वह 30 बीघा जमीन पर नींबू, खीरा, शिमला मिर्च, टमाटर और गेहूं सहित की कई प्रकार कि खेती करते हैं. नरेश सब्जी व गेहूं, सरसों की खेती से सालाना दस लाख रुपये के भी अधिक कमा लेते हैं.
आपके शहर से (डूंगरपुर)
धूले सिंह डोमार: डूंगरपुर के सीमलवाड़ा क्षेत्र के रहने वाले किसान धूले सिंह डोमार टमाटर की खेती कर रहे हैं. वह तीन बीघा जमीन से तीन महीने में तीन लाख रुपये की कमाई कर कर लेते हैं. धूलेसिंह को देख आपपास के किसान उनसे प्रेरणा लेकर टमाटर की खेती कर रहे है.
जीवण पटेल: डूंगरपुर के माडा गांव के रहने वाला जीवण पटेल का परिवार 20 बीघा जमीन पर सब्जियों की खेती कर रहा है. सब्जियों में मिर्ची, पत्ता गोभी, टमाटर, भिंडी और लोकी की खेती अहम है. इससे सालाना 12 से 13 लाख रुपये की कमाई हो जाती है. इस किसान परिवार को देख अब पूरा माडा गांव भी सब्जियों की खेती करने लगा है.
राजू पटेल व मंजुला पटेल: डूंगरपुर शहर से कुछ ही दूरी पर इंद्रखेत के रहने वाले राजू पटेल और उनकी पत्नी मंजुला पटेल सात साल पहले तक गेहूं, मक्का और सरसों की खेती करते थे. अब वो सब्जियों और फलों की खेती कर रहे है. सब्जियों में पत्ता गोभी, टमाटर, तरबूज जैसी खेती कर रहे हैं. इससे सालाना 7 से 8 लाख रुपये कमा रहे हैं.
नानूराम व लालूराम: डूंगरपुर के बिछीवाड़ा रहने वाले नानूराम ननोमा और लालूराम ननोमा बताते हैं कि शुरुआत में धान और गेहूं जैसी पारंपरिक फसलों की खेती कर रहे थे. इससे उपज को अच्छी हुई, लेकिन मेहनत के मुताबिक आमदनी ना मिलने के कारण बागवानी फसलों की तरफ रुख किया. विशेषज्ञों से सलाह-मशवरा किया तो इसके कई फायदे पता लगे. फिर कुछ साल पहले पत्ता गोभी, मिर्ची, टमाटर के साथ साथ मटर और मूली की खेती शुरू कर दी. इन सब्जी फसलों से कम लागत में अच्छा मुनाफा मिलने लगा. अब लालू राम और नानू राम सालाना 4 लाख रुपये तक आमदनी ले रहे हैं.
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Tags: Dungarpur news, Farming, Rajasthan news, Tomato, Vegetables
FIRST PUBLISHED : March 24, 2023, 11:04 IST