Rajasthanjaipur

अग्रवाल समाज चुनाव- प्रदीप मित्तल ग्रुप ने बाजी मारी,लखदातार दूसरे नम्बर पर तीन सीटों के साथ प्रगति ग्रुप पिछड़ा,निर्वाचित प्रमाण पत्र अदालती आदेश के बाद

निराला समाज जयपुर। सक्षम न्यायालय के स्थगन आदेश के बावजूद मतगणना में अग्रवाल समाज के चुनाव में बाजी प्रदीप मित्तल ग्रुप के हाथ 29 सीटों के साथ रही। देर रात पूर्ण हुई मतगणना में लखदातार ग्रुप दूसरे नंबर पर और चुनावों में धांधली को लेकर कोर्ट स्टे लेकर आए अग्रवाल प्रगति ग्रुप को तीन सीटों पर ही संतुष्ट होना पड़ा। गौर तलब है कि मंगलवार को कोर्ट ने रोक लगा दी। इसके बाद भी मतगणना जारी रही।

इसे लेकर मुख्य निर्वाचन अ​धिकारी राजू मंगोड़ी वाला ने बताया कि मतगणना का प्रावधान शुरू हो चुका था जो किसी भी कीमत पर रोका नहीं जा सकता था। मतगणना पूर्ण होने के बाद हमने परिणाम बंद लिफाफे में सुर​क्षित रखे है और माननीय अदालत के आदेश के बाद ही विधी संवत प्रक्रिया का अपनाते हुए विजेताओं को निर्वाचित प्रमाण पत्र दिए जाएंगे, जो अदालत का आदेश होगा वह निर्वाचन समिति के लिए ​शिरोधार्य होगा। मतगणना के दौरान स्टे कब मिला इसकी जानकारी मुझे नहीं है।

देर रात तक चली मतगणना में प्रदीप मित्तल ग्रुप के 29 प्रत्याशी, लखदातार ग्रुप के 28 प्रत्याशी और प्रगति ग्रुप के 3 प्रत्या​शियों को अग्रवाल समाज के मतदाताओं ने स्वीकार किया है। चुनाव में 11 महिला प्रत्याशियों ने भाग लिया था, जिनमें 9 प्रत्याशियों की जीत हुई। चुनाव अधिकारी राजू अग्रवाल मंगोड़ीवाला ने बताया- मतगणना अच्छे और सकारात्मक वातावरण में हुई। लेकिन कोर्ट के आदेश की पालना में वि​धि संवत परिणाम जारी नहीं किया है। जो भी रिजल्ट आया है वह बंद लिफाफे में है। कोर्ट का जो फैसला होगा मान्य होगा। मत पेटियों में से मत निकालने के साथ मतगणना शुरू होने के बाद इस कोर्ट का ऑर्डर लेकर मतगणना केंद्र पहुंचे वकील के साथ लोगों ने धक्का-मुक्की कर दी।

दरअसल, आज हो रही मतगणना में तीन ग्रुप आमने सामने हैं। इसमें लखदातार ग्रुप, प्रदीप ग्रुप और प्रगति ग्रुप आमने सामने हैं। प्रगति ग्रुप के प्रत्याशी आनंद गुप्ता ने लखदातार ग्रुप पर फर्जी मतदान के आरोप लगाया है। उन्होंने कहा- हमने इस मामले को कोर्ट में चुनौती दी थी। कोर्ट ने अग्रवाल समाज के चुनाव परिणाम जारी करने पर रोक लगाई।

बता दें कि चुनाव समिति की ओर से मतगणना का समय सुबह 10 बजे रखा गया था। लेकिन मंगलवार की मतगणना देरी से शुरू हुई। यहां 15114 वोटों की गिनती होनी थी। मतगणना के लिए चार स्कैनर लगाए गए हैं। मतगणना दिखाने के लिए एक बड़ी स्क्रीन लगाई गई है। स्कैनर में बैलेट पेपर स्कैन करके बड़ी स्क्रीन पर दिखाए जा रहे हैं।

ग्रुप का नामप्रत्याशी जीते
प्रदीप मित्तल ग्रुप29
लखदातार ग्रुप28
प्रगति ग्रुप3
नामवोट मिले
अजय अग्रवाल4420
अजय कुमार अग्रवाल3766
अनिल कुमार गोयल3814
अभिषेक गर्ग5063
अमित कामदार4211
अरुण अग्रवाल4253
अर्चना सिंघल4092
आलोक तापड़िया4351
आशीष गोयल4332
ओमप्रकाश गुप्ता4275
कुणाल चौधरी4117
गिर्राज अग्रवाल4166
गौरी मोदी4440
दिनेश कुमार अग्रवाल4214
प्रवीण बंसल3957
प्रहलाद स्वरूप अग्रवाल4029
बनवारी लाल लश्करी4299
बाबूलाल अग्रवाल4382
मनीष अग्रवाल4131
रमेश अग्रवाल4126
रमेश चंद डेरेवाला5345
राकेश कुमार गुप्ता5980
राजेंद्र कुमार अग्रवाल3963
राजेश कुमार गोयल5193
राधेश्याम अग्रवाल4292
शैफाली जैन4879
सुधीर गाड़िया3984
सुनील कुमार अग्रवाल3815
सोभागमल अग्रवाल4579
अनिल कुमार गर्ग4431
डॉ. अरुण कुमार गर्ग4253
अरुण गोयल4043
किशन गोयल3979
कृष्णा गर्ग4162
कैलाश चंद अग्रवाल4104
गिरिराज प्रसाद अग्रवाल4409
गोकलेश अग्रवाल3903
गौरी शंकर गर्ग4046
चंद्र प्रकाश राणा4771
जितेंद्र कुमार अग्रवाल4292
ज्योत्सना अग्रवाल3988
दीनदयाल गर्ग डेरेवाला4536
नवल किशोर अग्रवाल4176
नारायण लाल अग्रवाल3986
निर्मल मित्तल5247
पवन कुमार गोयल5175
प्रमोद बाणवाला4195
प्रहलाद राय अग्रवाल4518
भारत अग्रवाल4312
मधुसूदन बिशनजीवाला4376
मनोज कुमार अग्रवाल4142
मोहन लाल अग्रवाल5579
रेखा अग्रवाल4155
रेणू अग्रवाल4521
शंकर लाल अग्रवाल4683
सतीश कुमार गुप्ता4454
सोहनलाल अग्रवाल4338
नामवोट मिले
अखिल गोयल4033
आनंद गुप्ता4144
दीपिका जैन4244
अग्रवाल प्रगति ग्रुप

क्या है मामला
रविवार रात करीब 10 बजे मतगणना प्रारंभ की गई थी, लेकिन चार घंटे बाद करीब 2 बजे तकनीकी खामी आ गई थी। इससे वोटों की गिनती गड़बड़ा गई थी। इसके बाद देर रात यहां हंगामा हो गया था। करीब 3 घंटे तक चले विवाद के बाद सोमवार सुबह करीब 5 बजे मतगणना को स्थगित कर दिया गया खा। सभी बैलेट बॉक्स को एक कमरे में रखकर सील कर दिया गया था।

तकनीकी खामी को लेकर प्रगति ग्रुप और प्रदीप मित्तल ग्रुप ने चुनाव समिति पर लखदातार ग्रुप से मिलीभगत का आरोप लगा दिया था। उन्होंने कहा था कि लखदातार ग्रुप को फायदा पहुंचाने के लिए तकनीकी खामी के बहाने जानबूझकर मतगणना रोकी गई। इसके बाद प्रगति ग्रुप कोर्ट पहुंच गया था।

प्रगति ग्रुप के आनंद गुप्ता का कहना है कि 2064 वोटों की गिनती के बाद हमारे प्रत्याशियों को लग रहा था कि उनके नाम के आगे मोहर तो लगी है, लेकिन वोट नहीं बढ़ रहे। कुछ के तो कम भी हो गए। लखदातार ग्रुप को फायदा पहुंचाने के लिए यह सब किया गया। हमने इसकी शिकायत की गलत हो रहा है। मतदान की प्रक्रिया भी सही नहीं थी। गुप्त मतदान होना चाहिए था, लेकिन ऐसा कुछ नहीं था। हमने इसके लिए कैमरे की रिकार्डिंग मांगी थी, लेकिन हमें नहीं दी गई।

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