Rajasthan

CA Vs CMA: सीए और सीएमए में क्या होता है अंतर, दोनों में कौन है बेहतर? जानें किसमें सैलरी, करियर स्कोप है अधिक

CA Vs CMA: चार्टर्ड अकाउंटेंसी (CA) और कॉस्ट एंड मैनेजमेंट अकाउंटिंग (CMA) के बीच बेहतर सर्टिफिकेशन का चयन करना एक महत्वपूर्ण निर्णय है. दोनों कोर्स वित्तीय क्षेत्र में करियर के अवसर प्रदान करते हैं, लेकिन उनके बीच महत्वपूर्ण अंतर हैं. अगर आप भी इस क्षेत्र में करियर बनाना चाह रहे हैं, तो नीचे दिए गए इन बातों को जरूर पढ़ें.

चार्टर्ड अकाउंटेंसी (CA)सीए सर्टिफिकेशन भारत में सबसे प्रतिष्ठित और मांग वाले कोर्सों में से एक है. यह कोर्स टैक्सेशन, अकाउंटेंट और ऑडिटिंग में गहन नॉलेज प्रदान करता है.कोर्स स्ट्रक्चरसीए कोर्स तीन चरणों में विभाजित होता है:कॉमन प्रोफिशिएंसी टेस्ट (CPT): यह परीक्षा कक्षा 12वीं पास करने के बाद दी जा सकती है. इसे पास करने के बाद एक साल का करेस्पोंडेन्स कोर्स पूरा करना होता है.प्रोफेशनल कंपीटेंस कोर्स: CPT पास करने के बाद 18 महीने का प्रोफेशनल कंपीटेंस कोर्स करना होता है.फाइनल कोर्स: ग्रेजुएशन के बाद फाइनल परीक्षा देना आवश्यक है.करियर अवसरसीए के रूप में कार्य करने वाले पेशेवरों के लिए विभिन्न करियर विकल्प उपलब्ध हैं, जैसे कि ऑडिटर, टैक्स कंसल्टेंट और फाइनेंस मैनेजर शामिल हैं. इसके साथ ही शुरुआत सैलरी अच्छी मिलती है.

कॉस्ट एंड मैनेजमेंट अकाउंटिंग (CMA)सीएमए सर्टिफिकेशन भी महत्वपूर्ण है, लेकिन यह मुख्यतः कॉस्ट मैनेजमेंट और फाइनेंशियल एनालिसिस पर केंद्रित है.कोर्स स्ट्रक्चरसीएमए कोर्स तीन लेवलों में विभाजित होता है:फाउंडेशन कोर्स: यह कक्षा 10वीं के बाद शुरू किया जा सकता है और लगभग छह महीने का होता है.इंटरमीडिएट कोर्स: फाउंडेशन कोर्स के बाद इस लेवल को पास करने में लगभग 12 महीने लगते हैं.फाइनल कोर्स: फाइनल लेवल में 36 महीने का व्यावहारिक प्रशिक्षण आवश्यक है.करियर अवसरसीएमए पेशेवर आमतौर पर कॉस्ट एंड फाइनेंशियल मैनेजमेंट में कार्य करते हैं. उनके लिए भी करियर की अच्छी संभावनाएं हैं, जैसे कि कॉस्ट कंट्रोलर और इंटर्नल ऑडिटर शामिल हैं.

CA और CMA के बीच मुख्य अंतरसीए (चार्टर्ड अकाउंटेंट) को टैक्सेशन, अकाउंटेंट और ऑडिटिंग के क्षेत्र में बहुत ही अच्छा नॉलेज होता है. दूसरी ओर कॉस्ट एंड मैनेजमेंट अकाउंटिंग (CMA) आमतौर पर किसी संगठन की वित्तीय जानकारी को इकट्ठा करने, विश्लेषण करने और उसकी व्याख्या करने का काम करते हैं. सीए कोर्स में प्रवेश पाने के लिए उम्मीदवारों को केवल कक्षा 12वीं पास होना आवश्यक है, और इसके बाद ग्रेजुएट लेवल की पढ़ाई पूरी की जा सकती है. फाउंडेशन कोर्स कक्षा 10वीं के बाद किया जा सकता है, लेकिन इंटरमीडिएट और फाइनल परीक्षा के लिए कक्षा 12वीं पास करने और किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से ग्रेजुएट की डिग्री आवश्यक है.

वहीं ICAI की सदस्यता प्राप्त करने के लिए फाइनल परीक्षा को पास करना और साथ ही आवश्यक कार्य अनुभव हासिल करना आवश्यक है. यह परीक्षा अक्सर ICWA की तुलना में अधिक चुनौतीपूर्ण मानी जाती है. हालांकि, सदस्यता के लिए निर्धारित कोई विशेष योग्यता नहीं होती, और इसे प्राप्त करना सीए की तुलना में अपेक्षाकृत आसान होता है. सीए की नौकरी की प्रोफाइल में विभिन्न अवसर होते हैं और आमतौर पर शुरुआत में आईसीडब्ल्यूए से अधिक वेतन मिलता है. इसके विपरीत, कॉस्ट एंड वर्क्स अकाउंटेंट की जॉब प्रोफाइल कॉस्ट एंड फाइनेंशियल मैनेजमेंट तक सीमित होती है, और इसका वेतन सीए से थोड़ा कम होता है.ये भी पढ़ें…CBSE 12वीं में 95.2% अंक, IIT बॉम्बे से B.Tech, प्रिंसटन यूनिवर्सिटी से मास्टर डिग्री, अब कर रहे हैं ये कामआईआईटी से पाना चाहते हैं मास्टर डिग्री, तो कल तक कर लें ये काम, नहीं तो अधूरा रह जाएगा सपना

Tags: Education news, Entrance exams

FIRST PUBLISHED : October 10, 2024, 18:36 IST

Source link

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button

Uh oh. Looks like you're using an ad blocker.

We charge advertisers instead of our audience. Please whitelist our site to show your support for Nirala Samaj