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भारत में इन 5 पोषक तत्वों की कमी से जूझ रहे करोड़ों लोग ! जानें इनकी कमी कैसे करें पूरी

हाइलाइट्स

विटामिन D और विटामिन B12 की कमी से बड़ी संख्या में लोग जूझ रहे हैं.इन जरूरी पोषक तत्वों की कमी से सेहत से जुड़ी समस्याएं पैदा हो सकती हैं.

Common Nutrient Deficiencies: विटामिन और मिनरल्स हमारे शरीर के बिल्डिंग ब्लॉक होते हैं. ये बॉडी को स्वस्थ और तंदुरुस्त बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. ये सभी पोषक तत्व खाने-पीने की चीजों से मिलते हैं. हेल्दी डाइट के जरिए इन न्यूट्रिएंट्स की कमी को दूर किया जा सकता है. बड़ी संख्या में लोग बैलेंस्ड डाइट नहीं लेते हैं और इसकी वजह से शरीर में जरूरी विटामिन और मिनरल्स की कमी हो जाती है. इन पोषक तत्वों की कमी लंबे समय तक रहे, तो कई बीमारियों की वजह बन सकती है. आज आपको कॉमन न्यूट्रिएंस डिफीशिएंसी और इनकी कमी दूर करने वाले फूड्स के बारे में बता रहे हैं.

– नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन (NCBI) की रिपोर्ट के अनुसार विटामिन D की कमी सबसे कॉमन होती है. विटामिन डी हड्डियों को मजबूत बनाए रखने के लिए जरूरी है, क्योंकि यह कैल्शियम के अब्जॉर्प्शन में मदद करता है. विटामिन डी की कमी से ऑस्टियोपोरोसिस जैसी खतरनाक समस्याएं हो सकती हैं. विटामिन डी की कमी होने पर अत्यधिक थकान, नींद न आना, हड्डियों में दर्द, बालों का झड़ना और मांसपेशियों में कमजोरी जैसे लक्षण नजर आते हैं. विटामिन D की कमी दूर करने के लिए रोज 10-15 मिनट सूरज की रोशनी में बैठें और फोर्टिफाइड मिल्क, अंडा व फैटी फिश का सेवन करें.

– भारत में बड़ी तादाद में लोग वेजिटेरियन होते हैं, जिसकी वजह से विटामिन B12 की कमी होना कॉमन है. यह विटामिन नर्वस सिस्टम, डीएनए और रेड ब्लड सेल्स के प्रोडक्शन के लिए जरूरी है. इसकी कमी से सीवियर एनीमिया और न्यूरोलॉजिकल प्रॉब्लम्स हो सकती हैं. विटामिन बी12 की कमी होने पर कमजोर मांसपेशियां, चलने में परेशानी, मतली, वजन कम होना और चिड़चिड़ापन जैसे लक्षण नजर आते हैं. इस विटामिन की कमी पूरी करने के लिए ऑर्गन मीट, फिश, दूध, पनीर और दही जैसे डेयरी प्रोडक्ट्स का सेवन करना चाहिए. कुछ फोर्टिफाइड अनाज में भी यह विटामिन होता है.

– जो लोग पर्याप्त मात्रा में कैल्शियम रिच फूड्स का सेवन नहीं करते हैं, उनके शरीर में कैल्शियम की कमी हो जाती है. इसकी कमी होना भी बेहद कॉमन है. कैल्शियम मजबूत हड्डियों और दांतों के अलावा मसल्स की फंक्शनिंग के लिए जरूरी होता है. कैल्शियम की कमी से हड्डियां कमजोर हो सकती हैं और फ्रैक्चर का जोखिम बढ़ सकता है. कैल्शियम की कमी होने पर मांसपेशियों में दर्द, मसल्स में ऐंठन, हाथ-पैरों में दर्द जैसे लक्षण नजर आते हैं. दूध, पनीर और दही जैसे डेयरी प्रोडक्ट कैल्शियम के बेहतरीन सोर्स हैं. हरी सब्जियों में भी कैल्शियम की अच्छी मात्रा होती है.

– डब्ल्यूएचओ के अनुसार आयरन की कमी दुनियाभर में सबसे कॉमन है. भारत में आयरन की कमी महिलाओं और बच्चों को सबसे ज्यादा प्रभावित करती है. आयरन एक महत्वपूर्ण मिनरल है, जो हीमोग्लोबिन के प्रोडक्शन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है. हीमोग्लोबिन एक प्रोटीन होता है, जो पूरे शरीर में ऑक्सीजन ले जाता है. आयरन की कमी से एनीमिया हो सकता है, इससे थकान, कमजोरी के अलावा स्किन पीली हो सकती है. आयरन की कमी को दूर करने के लिए पालक, दाल, छोले और रेड मीट जैसे फूड्स का सेवन किया जा सकता है.

– भारत में आयोडीन की कमी एक महत्वपूर्ण मुद्दा रहा है. आयोडीन युक्त नमक की शुरूआत ने काफी हद तक इस समस्या को कम कर दिया है. आयोडीन थायरॉयड फ़ंक्शन के लिए जरूरी होता है और मेटाबॉलिज्म को कंट्रोल करता है. आयोडीन की कमी से थायरॉयड से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं. पर्याप्त आयोडीन स्तर बनाए रखने के लिए आयोडीन युक्त नमक, सीफूड्स, डेयरी प्रोडक्ट और अंडे का सेवन करना चाहिए.

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Tags: Health, Lifestyle, Trending news

FIRST PUBLISHED : May 27, 2024, 08:46 IST

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