India may import wheat, a big blow to Modi’s vision of feeding the world | ‘देश के पास पर्याप्त स्टॉक है’, गेहूं इम्पोर्ट की खबर का सरकार ने किया खंडन

क्या कहा सरकार ने?
Department of Food and Public Distribution ने कहा, “भारत गेहूं इम्पोर्ट करने की ऐसी कोई योजना नहीं बना रहा। हमारी घरेलू आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए देश के पास पर्याप्त स्टॉक है और सार्वजनिक वितरण के लिए भी फूड कार्पोरेशन ऑफ इंडिया के पास भी पर्याप्त स्टॉक है।” बता दें कि कुछ रिपोर्ट्स में सामने आया था कि भारत गेहूं इम्पोर्ट करने पर विचार कर रहा है।

14 साल में गेहूं भंडार सबसे निचले स्तर पर
दरअसल, मार्च में रिकॉर्ड गर्मी के कारण गेहूं के उत्पादन में भारी कमी आई है। भीषण गर्मी के कारण न केवल गेहूं के उत्पाद में कमी आई है, बल्कि स्थानीय कीमतों में बढ़ोतरी हुई है। फूड कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया के मुताबिक अगस्त में देश का गेहूं भंडार 14 साल में महीने के सबसे निचले स्तर पर आ गया है, जबकि गेहूं की महंगाई 12 फीसदी के करीब चल रही है। ऐसे में खबरें सामने आ रही थीं कि अधिकारी गेहूं पर 40 फीसदी इम्पोर्ट टैक्स को कम करने या उसे खत्म करने पर चर्चा कर रहे हैं। ताकि गेहूं का इम्पोर्ट कम लागत में हो सके।
वैश्विक स्तर पर गेहूं की कीमतों में उछाल
ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट के अनुसार, “रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग के कारण वैश्विक स्तर पर गेहूं की कीमतों में इजाफा हुआ है। भारत भी अब घरेलू स्तर पर कमी को देखते हुए गेहूं के आयात पर विचार कर सकता है। हालांकि, वैश्विक स्तर पर गेहूं की कीमतों की तुलना में घरेलू मार्केट में गेहूं की कीमतें काफी कम हैं।”
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गेहूं उत्पादन के मामले में दुनियभर में दूसरे स्थान पर है भारत
बता दें कि भारत गेहूं उत्पादन के मामले में दुनियाभर में दूसरे स्थान पर है, इसके बावजूद वो कभी इसका निर्यातक नहीं रहा है। हालांकि, वार्षिक उत्पादन का लगभग 0.02% विदेशों से खरीद के साथ कभी अधिक इम्पोर्ट भी नहीं किया। गेहूं के मामले में भारत हमेशा से काफी आत्मनिर्भर रहा है।
अनुमान से कम हुआ गेहूं उत्पादन
गौरतलब है कि कृषि मंत्रालय ने 16 फरवरी 2022 को अनुमान लगाया था कि साल 2021-22 में गेहूं का उत्पादन 111.32 मिलियन टन हो सकता है। इसके विपरीत व्यापारियों और आटा मिलों ने 98 मिलियन से 102 मिलियन टन का अनुमान लगाया। गेहूं के उत्पादन में कमी को देखते हुए घरेलू डिमांड को पूरा करने के लिए भारत ने इसके निर्यात पर रोक लगा दी थी। इसके बावजूद देश में गेहूं के दामों में वृद्धि देखने को मिली है। हालांकि, सरकार ने स्पष्ट कर दिया है कि वो गेहूं के इम्पोर्ट को लेकर कोई योजना नहीं बना रही है।