Rajasthan

Second Wave Of Corona In The State Wreaks Havoc – कोरोना के कोहराम से शहर की गहमा-गहमी पर ग्रहण

राज्य में दूसरी लहर का कहर

 

 

जयपुर. राज्य में बंदिशों के बावजूद कोरोना का कोहराम जारी है। वीकेंड कर्फ्यू के बाद भी हालात बद से बदतर हो गए हैं। दो दिन लोग कैद में रहे। घर की देहरी तक नहीं लांघी, बाजारों में सन्नाटा पसरा रहा फिर भी मरीजों के आंकड़े सिहरन पैदा कर रहे हैं। राज्य सरकार के प्रयास भी वायरस के आगे बेदम हो चले हैं। सुपर स्पीड से बढ़ रहे मरीजों से अस्पतालों की व्यवस्थाएं चरमराने लगी हैं। चिकित्सक दबाव में और मरीजों की सांसों पर खतरा मंडराने लगा है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अनुसार रविवार को राज्य में अब तक के सर्वाधिक कोरोना मरीज सामने आए। दस हजार से ज्यादा संक्रमित दर्ज किए गए। वहीं राज्य में एक दिन में 42 मरीजों की कोरोना ने सांसों की डोर तोड़ दी। राज्य में एक्टिव केस बढ़कर 67 हजार 135 पर पहुंच गए। इतना ही नहीं राज्य के चार जिलों में हालात बेकाबू हो गए हैं। यहां आए दिन मरीज और मौतें बढ़ रही हैं। बात हो रही है जयपुर, जोधपुर, कोटा, उदयपुर की जहां रविवार को भी मरीजों की संख्या एक हजार से ज्यादा पाई गईं।

जयपुर में हाहाकार

राजधानी जयपुर में भी कोरोना ने तो हाहाकार मचा रहा है। जिले में रविवार को दो हजार के करीब मरीज सामने आए। एक्टिव केस बढ़कर तेरह हजार के पार हो चुके हैं। नौ कंटेनमेंट जोन में सख्ती के बावजूद सर्वाधिक मरीज मिल रहे हैं। अकेले जगतपुरा में कोरोना ने 106 लोगों को शिकार बना लिया।

गांवों में बढ़ रहा खतरा

दूसरी ओर गांवों में भी संक्रमण बढऩे की खबरों ने डर में और इजाफा कर दिया है। लगता है शहरों से निकल कोरोना वायरस गांवों में तेजी से घुसपैठ कर रहा है। ग्रामीण इलाकों में कोरोना संक्रमण की पहली लहर के पीक से छह फीसदी ज्यादा हो गया है। पिछले साल नवंबर के तीसरे सप्ताह में राज्य में कुल पॉजिटिव में से 33 फीसदी ग्रामीण क्षेत्रों से थे जबकि इस बार यह आंकड़ा 38.81 हो गया है। यानी गांवों में भी महामारी का दंश शहरों के साथ-साथ तेजी से फैल रहा है।

खुद करें जतन

एक ओर जहां राज्य सरकार सख्ती और वैक्सीनेशन सहित अन्य इंतजामों पर जोर दे रही है वहीं लोगों को भी चाहिए कि वे अपने स्तर पर कोरोना को हराने का जतन करें। मास्क, सोशल डिस्टेंसिंग संबंधी गाइडलाइन की पालना करें। संक्रमित होने पर आइसोलेशन को लेकर जरा भी ढिलाई न बरतें। चिकित्सकों के दिशा निर्देशों को पूरी तरह फोलो करें। खुद जागरूक रहें और मोहल्ले में लोगों को जागरूक करें। सरकारों की तरफ देखने से बेहतर हैं हम खुद कोरोना को हराने की जिद करें। क्योंकि जिद से ही जीत का रास्ता निकलेगा।

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