लुट रही बेटियों की आबरू, आंकड़ों में उलझे 'रखवाले'
जयपुर। राजस्थान में महिलाओं की सुरक्षा सरकार के लिए एक बड़ी चुनौती बनती जा रही है। महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराधों में बढ़ोतरी का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। महिला दुराचार को लेकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी नाराजगी जता चुके हैं। पुलिस अधिकारियों को इन मामलों में कमी लाने के निर्देश दे चुके हैं, लेकिन उसके बाद भी प्रदेश में महिलाओं पर होने वाले अत्याचारों का ग्राफ सुरसा के मुंह की तरह बढ़ता जा रहा है। प्रदेश में नाबालिग बच्चियों से लेकर युवतियां तक सुरक्षित नहीं हैं। हर दिन प्रदेश के किसी न किसी जिले से बच्चियों और युवतियों से बलात्कार के मामले सामने आ रहे हैं। वहीं, दरिंदगी को छुपाने के लिए अब दुराचारी बलात्कार के बाद उनकी हत्या करने से भी बाज नहीं आ रहे हैं। पुलिस प्रशासन महिला सुरक्षा का डंका पीट रहा है, लेकिन हकीकत दावों से कोसों दूर है। हर दिन प्रदेश में बेटियों की आबरू लुट रही है।
पुलिस के दावे फेल
आपराधिक आकड़ों में महिला छेड़छाड़ में भी रेकॉर्ड मामले दर्ज किए गए हैं। पुलिस की लाख कोशिशों के बाद भी वर्ष 2020 में 5779, वर्ष 2021 में 6084 और वर्ष 2022 में 7065 महिलाओं के साथ छेड़छाड़ हुई।
इन मामलों में घटा ग्राफ
प्रदेश में दहेज मामलों में पहले की अपेक्षा सुधार हो रहा है। अगस्त वर्ष 2020 में 339, वर्ष 2021 में 309 और वर्ष 2022 में 294 सामने आए। हालांकि यह कमी बहुत मामूली है, लेकिन राहत की बात यह है कि आकड़े बढ़े नहीं। इसी तरह दहेज आत्महत्या उत्प्रेरण में वर्ष 2020 में 125 वर्ष 2021 में 145 और वर्ष 2022 में 135 मामले दर्ज किए गए हैं।
इनका कहना है-
महिलाओं पर होने वाले अत्याचारों में कमी आई है। हालांकि एफआईआर दर्ज होने से आकड़े बढ़े हैं। इस दिशा में पुलिस लगातार काम कर रही है। महिला दुराचार के मामलों को रोकने का प्रयास किया जा रहा है।
उमेश मिश्रा, पुलिस महानिदेशक राजस्थान
हकीकत को बयां करते आंकड़ें
प्रदेश में महिला उत्पीड़न की बात की जाए तो पुलिस मुख्यालय के अनुसार अगस्त 2020 में 8569, वर्ष 2021 में 11,247 और वर्ष 2022 में आंकड़ा बढ़कर 13,707 हो गया। बलात्कार की बात की जाए तो इसमें लगातार बढ़ोतरी देखी जा रही है। वर्ष 2020 में 3498, वर्ष 2021 में 4313 और वर्ष 2022 में 4956 तक आंकड़ा पहुंच गया। वहीं सामूहिक बलात्कार के मामलों में भी ग्राफ बढ़ा है। वर्ष 2020 में सामूहिक बलात्कार के मामले 125, वर्ष 2021 में 121 और वर्ष 2022 में 131 मामले सामने आए। वहीं अन्य बलात्कार मामलों में वर्ष 2021 में 327, वर्ष 2021 में 375 और वर्ष 2022 तक 396 मामले सामने आए।