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Year 2021 hindu festivals calendar of MAY in hindi hindu calander

त्यौहारों और पर्वों को लेकर लोगों के मन में विशेष उत्साह…

सनातन धर्म में त्यौहारों का अपना एक खास महत्व है और तकरीबन हर माह आने वाले विभिन्न त्यौहारों और पर्वों को लेकर लोगों के मन में विशेष उत्साह रहता है। ऐसे में जहां पिछले 1 वर्ष से कोरोना संक्रमण के चलते ये festivels काफी फीके रहे हैं, वही एक बार फिर कोरोना संक्रमण के बढ़ जाने से मई 2021 में आने वाले पर्वो और त्योहारों को लेकर लोग चिंतित हैं।

पंडित एसके पांडेय के अनुसार मई 2021 में अक्षय तृतीया है। वहीं इस महीने में सीता नवमी भी मनाई जाएगी। इनके अलावा श्री नृसिंह जयंती और वैशाख बुध पूर्णिमा भी मई में मनाई जाएगी।

इन सब के अलावा अपरा वरुथिनी एकादशी और मोहिनी एकादशी के अतिरिक्त वैशाख अमावस्या भी इसी माह होगी। जबकि Shani Pradosh व सोम प्रदोष भी मई माह में ही हैं।

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इसके अतिरिक्त बगलामुखी जयंती और विनायक चतुर्थी व संकष्टी चतुर्थी की पूजा भी इसी माह में है।

ऐसे समझें पर्व व त्योहार…
-: 07 मई शुक्रवार : वरुथिनी एकादशी
बैशाख मास की इस एकादशी को व्रत रखकर भगवान विष्णु के वराह अवतार की पूजा की जाती है। वरूथिनी एकादशी के दिन व्रत रखा जाता है। मान्यता है कि इस Ekadashi के दिन सूर्यास्त के समय भगवान लक्ष्मी नारायण के चरणों में सफेद रंग के फूल चढ़ाने से नारायण के साथ Goddess lakshmi भी प्रसन्न होकर मनचाही इच्छा पूरी होने का आशीर्वाद देती हैं।

वरूथिनी Ekadashi के दिन धन-वैभव और संपन्नता प्राप्ति के लिए भगवान विष्णु के इस विशेष मंत्र का जप करना चाहिए।

– ॐ भूरिदा भूरि देहिनो, मा दभ्रं भूर्या भर। भूरि घेदिन्द्र दित्ससि।

– ॐ भूरिदा त्यसि श्रुत: पुरूत्रा शूर वृत्रहन्। आ नो भजस्व राधसि।।

एकादशी शुभ मुहूर्त-
एकादशी तिथि शुरू – 06 मई 2021 को दोपहर 02 बजकर 10 मिनट 12 सेकंड से
एकादशी तिथि समाप्त – 07 मई 2021 को शाम 03 बजकर 32 मिनट तक
एकादशी व्रत पारण समय- 08 मई को सुबह 05 बजकर 35 मिनट से लेकर सुबह 08 बजकर 16 मिनट तक
पारण का कुल समय – 2 घंटे 41 मिनट

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-: 11 मई मंगलवार : वैशाख अमावस्या
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इसी माह से त्रेता युग का आरंभ हुआ था। इस माह का प्रत्येक दिन विशेष पुण्यदायी माना जाता है और Amavasya तो अपने आप में अत्यंत फलदायी होती है। वैशाख अमावस्या के दिन धर्म-कर्म, दान-पुण्य,स्नान-दान और पितरों के तर्पण के लिये अमावस्या का दिन बहुत ही शुभ माना जाता है।
काल सर्प दोष से मुक्ति पाने के लिये भी अमावस्या तिथि पर ज्योतिषीय उपाय किये जाते हैं। इसके अलावा शनि की शांति, अन्य ग्रह दोषों से मुक्ति के लिए भी इस दिन पूजा आदि की जाती है।

मुहूर्त…
मई 10, 2021 को शाम 09:57 से अमावस्या शुरू
मई 12, 2021 को रात 00:31 पर अमावस्या समाप्त

-: 14 मई शुक्रवार : अक्षय तृतीया , वृष संक्रांति
वैशाख शुक्ल तृतीया को अक्षय तृतीया या आखा तीज कहते हैं। यह Sanatan Dharma को मानने वालों का प्रधान त्यौहार है। इस दिन दिए हुए दान और किये हुए स्नान, यज्ञ, जप आदि सभी कर्मों का फल अनन्त और अक्षय (जिसका क्षय या नाश न हो) होता है। इसलिए इस त्यौहार का नाम अक्षय तृतीया रखा गया है।

हिंदू धर्म में Akshaya Tritiya का बहुत बड़ा महत्व बताया गया है। धार्मिक रूप से विशेष महत्व रखने वाली अक्षय तृतीया वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाई जाती है।

हिन्दू पंचांग के अनुसार अक्षय तृतीया को एक अबूझ मुहूर्त माना जाता है। इस दिन Devi Mata Lakshmi को प्रसन्न करने के लिए पूजा करने का विधान है। इस दिन परशुराम जयंती,भी मनाया जाता है। इसके अलावा इसी दिन देवभूमि उत्तराखंड स्थित यमुनोत्री और गंगोत्री धाम के कपाट भी खुलते हैं।

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-: 21 मई, शुक्रवार- सीता नवमी
वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की नवमी को ‘जानकी नवमी’ के नाम से भी जाना जाता है। धार्मिक मान्यता है कि आज ही के दिन पुष्य नक्षत्र (Pushya nakshatra) में महाराजा जनक संतान प्राप्ति के लिए यज्ञ भूमि तैयार करने के लिए हल से भूमि जोत रहे थे। तभी पृथ्वी से बच्ची प्रकट हुई। जिनका नाम सीता रखा गया।

राम नवमी की तरह ही सीता नवमी को भी बहुत फलदायी माना जाता है। जो इस दिन माता सीता की पूजा अर्चना श्रीराम के साथ करते हैं उनपर Lord vishnu और मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है और उन्हें काफी लाभ होता है।

पूजा समय-
नवमी तिथि शुरू : 20 मई 2021 को 12:25 बजे से
नवमी तिथि समाप्त : 21 मई 2021 को 11:10 बजे तक

-: 22 मई शनिवार : मोहिनी एकादशी
वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मोहिनी एकादशी कहा जाता है। इस दिन व्रत रखने से अनेक मनचाही कामनाएं पूरी हो जाती हैं। कहा जाता है कि इसी दिन lord shri hari ने समुद्र मंथन से निकले अमृत की रक्षा दानवों से करने के लिए मोहिनी रूप धारण किया था, तभी से इसे Mohini Ekadashi कहा जाने लगा।

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इस दिन व्रत रखकर इस शुभ मुहूर्त में पूजा करने से व्रती को मनचाही कामना की प्राप्ति का आशीर्वाद मिलता है। इस एकादशी का व्रत रखकर विधिवत पूजा करने से भव-बंधनों से मुक्ति भी मिलती है। वही ये भी मान्यता है कि इस दिन सीता माता का पता लगाने के लिए भगवान Shri Ram ने व्रत रखकर रखा था।

मोहिनी एकादशी व्रत मुहूर्त…
एकादशी तिथि प्रारम्भ : 22 मई 2021 को 09:15 बजे से
एकादशी तिथि समाप्त : 23 मई 2021 को 06:45 बजे तक
मोहिनी एकादशी पारणा मुहूर्त : 24 मई को 05:26 बजे से 08:10 बजे तक
कुल अवधि : 2 घंटे 44 मिनट

-: 26 मई बुधवार : वैशाख पूर्णिमा व्रत / बुद्ध पूर्णिमा
हिन्दू पंचांग के अनुसार वैशाख माह की पूर्णिमा को बुद्ध पूर्णिमा पड़ती है, इसीलिए इसे वैशाख पूर्णिमा, बुद्ध जयंती, वेसाक और हनमतसूरी आदि नामों से भी जाना जाता है। मान्यता अनुसार यह दिन lord vishnu के नवें अवतार महात्मा बुद्ध यानी सिद्धार्थ गौतम जिन्हें हम गौतम बुद्ध के नाम से भी जानते हैं, उनके जन्मदिन के रूप में मनाया जाता है।

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वैशाख पूर्णिमा व्रत मुहूर्त…
पूर्णिमा तिथि प्रारम्भ : 25 मई 2021 को शाम 08:22 बजे से
पूर्णिमा तिथि समाप्त : 26 मई 2021 को दोपहर 04:42 बजे तक

May 2021 calendar : List of Festivals
मई 2021 : त्यौहार
07-शुक्रवार : वरुथिनी एकादशी
08-शनिवार : प्रदोष व्रत (कृष्ण)
09-रविवार : मासिक शिवरात्रि
11-मंगलवार : वैशाख अमावस्या
14-शुक्रवार : अक्षय तृतीया , वृष संक्रांति
15-मई: विनायक चतुर्थी
20-मई, गुरुवार- दुर्गाष्टमी व्रत, बगलामुखी जयंती
21-मई, शुक्रवार- सीता नवमी
22-शनिवार : मोहिनी एकादशी- (22 मई को 09:15 AM से एकादशी शुरू हो कर 23 मई को 06:42 AM तक)
24-सोमवार : प्रदोष व्रत (शुक्ल)
25-मई, मंगलवार- नृसिंह जयंती
26-बुधवार : वैशाख पूर्णिमा व्रत / बुद्ध पूर्णिमा
29-शनिवार : संकष्टी चतुर्थी

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