गरीब का फ्रिज है यह है मिट्टी का बर्तन, बिना खर्च के पानी हो जाता है ठंडा, इसका पानी प्राकृतिक खनिजों से होता है भरपूर

Last Updated:April 27, 2025, 22:46 IST
Jaipur News : मटका या घड़ा गर्मी में गरीब का फ्रिज कहलाता है, जो बिना बिजली के पानी ठंडा रखता है. आयुर्वेदाचार्य डॉ वीरेंद्र कुमार शास्त्री के अनुसार, यह स्वास्थ्यवर्धक और पर्यावरण अनुकूल है.X
मटके से पीने का पानी प्राकृतिक खनिजों से भरपूर
हाइलाइट्स
मटका बिना बिजली के पानी ठंडा रखता हैमटके का पानी प्राकृतिक खनिजों से भरपूर होता हैमटका पर्यावरण अनुकूल और स्वास्थ्यवर्धक है
जयपुर. मिट्टी से बनने वाला मटका या घड़ा कोई साधारण बर्तन नहीं होता है गर्मी के मौसम में इस गरीब का फ्रिज कहा जाता है. इसमें पानी फ्रिज की तरह ठंडा रहता है. अपनी उम्दा कारीगर से ग्रामीण क्षेत्रों में कुम्हार यह मिट्टी के घड़े बनता है. गर्मी के मौसम में उनकी डिमांड काफी अधिक बढ़ जाती है.
आयुर्वेदाचार्य डॉ वीरेंद्र कुमार शास्त्री ने बताया कि आज जब बाजार आधुनिक तकनीक से बने फ्रिज से भरे पड़े हैं, तब भी मटका अपनी उपयोगिता और महत्व को साबित करता है. यह प्राकृतिक तरीके से पानी को ठंडा करता है. खास बात ये है कि इसमें बिना बिजली के खर्च और पर्यावरण को नुकसान पहुचाए अपनी ठंडा रहता है. इसके अलावा मटके की मिट्टी में छोटे-छोटे छिद्र होते हैं, जिनसे वाष्पीकरण होता है और पानी का तापमान कम हो जाता है। यही प्रक्रिया उसे देसी फ्रिज बनाती है.
मटके से पीने का पानी प्राकृतिक खनिजों से भरपूरमटके का पानी न तो अत्यधिक ठंडा होता है, न ही स्वास्थ्य के लिए हानिकारक. यह गले के संक्रमण, जुकाम जैसी समस्याओं से भी बचाव करता है, जो बहुत ठंडे पानी से हो सकती हैं. इसके अलावा मटके से पीने का पानी प्राकृतिक खनिजों से भरपूर होता है क्योंकि मिट्टी से पानी में हल्के खनिज तत्व मिलते हैं. गांवों से लेकर शहरों तक मटका हर घर में गर्मी का एक सस्ता, टिकाऊ और स्वास्थ्यवर्धक समाधान रहा है. खास बात यह है कि मटका बनाने की कला ग्रामीण कुम्हारों के जीवनयापन का भी साधन है. मटकों की मांग बढ़ने से स्थानीय कारीगरों को रोज़गार मिलता है और पारंपरिक हस्तशिल्प जीवित रहता है.
पर्यावरण की दृष्टि से भी अनुकूल मटकाआज के दौर में जब ऊर्जा संकट और पर्यावरण संरक्षण की बातें हो रही हैं, मटका जैसे स्वदेशी विकल्पों का महत्व और भी बढ़ गया है. यह न केवल हमारे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है, बल्कि पर्यावरण की दृष्टि से भी अनुकूल है. इसलिए यह कहना गलत नहीं होगा कि मटका आज भी देसी फ्रिज से कम नहीं है सस्ता, टिकाऊ, पर्यावरण मित्र और स्वास्थ्यवर्धक. हमें अपनी इस पारंपरिक धरोहर को बचाए रखना चाहिए और आधुनिक जीवनशैली के साथ इसे भी अपनाना चाहिए.
Location :
Jaipur,Rajasthan
First Published :
April 27, 2025, 22:46 IST
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गरीब का फ्रिज है यह है मिट्टी का बर्तन, बिना खर्च के पानी हो जाता है ठंडा…